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पीएम आवास मजदूरी भुगतान में करोड़ों का घोटाला, 10 अफसर-कर्मचारी नामजद

फतेहपुर में प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के अंतर्गत मजदूरी भुगतान में बड़े पैमाने पर वित्तीय अनियमितताओं का खुलासा हुआ है। मामले की जांच में 55 लाख से अधिक की गड़बड़ी सामने आई है। इस प्रकरण में ब्लॉक स्तर के अधिकारियों व कर्मचारियों सहित 10 लोगों के खिलाफ असोथर थाने में मुकदमा दर्ज हुआ है।
Post Published By: Rohit Goyal
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पीएम आवास मजदूरी भुगतान में करोड़ों का घोटाला, 10 अफसर-कर्मचारी नामजद

Fatehpur: फतेहपुर में प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के अंतर्गत मजदूरी भुगतान में बड़े पैमाने पर वित्तीय अनियमितताओं का खुलासा हुआ है। असोथर विकास खंड की ग्राम पंचायत सरकंडी में वर्ष 2023-24 के दौरान आवास लाभार्थियों की मजदूरी राशि अन्य व्यक्तियों के खातों में भेज दी गई। मामले की जांच में 55 लाख से अधिक की गड़बड़ी सामने आई है। इस प्रकरण में ब्लॉक स्तर के अधिकारियों व कर्मचारियों सहित 10 लोगों के खिलाफ असोथर थाने में मुकदमा दर्ज हुआ है।

कैसे खुला मामला

मुख्य विकास अधिकारी के निर्देश पर जिला ग्राम्य विकास अभिकरण ने जांच कर रिपोर्ट प्रस्तुत की। इसमें पाया गया कि 709 आवास स्वीकृत लाभार्थियों में से अधिकांश की मजदूरी राशि उनके खाते की बजाय अलग-अलग व्यक्तियों के खातों में ट्रांसफर की गई। मनरेगा सॉफ्टवेयर से मिले आंकड़ों के मुताबिक 20 लाभार्थियों की मजदूरी की रकम 1.36 लाख रुपये और कुल मिलाकर लगभग 55.46 लाख रुपये की गड़बड़ी सामने आई।

जिनके खिलाफ FIR दर्ज

विकास खंड असोथर के तैनात अफसरों और कर्मचारियों को सीधे जिम्मेदार मानते हुए एफआईआर दर्ज की गई है। नामजदों में शामिल हैं–

नरेंद्र गुप्ता, अवर अभियंता (ग्रामीण अभियंत्रण विभाग)

अजय प्रताप सिंह, अवर अभियंता (ग्रामीण अभियंत्रण विभाग)

धर्मकीर्ति, तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी

जितेंद्र नाथ, वर्तमान ग्राम विकास अधिकारी

सूर्यप्रकाश, लेखाकार प्रथम

विपिन श्रीवास्तव, अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी (मनरेगा)

रामप्रकाश व प्रकाश सिंह, कंप्यूटर ऑपरेटर (मनरेगा)

शिवम, कंप्यूटर ऑपरेटर (एनआरएलएम)

पूनम देवी, पंचायत सहायक

इन सभी पर लाभार्थियों की मजदूरी राशि गबन करने, रिकॉर्ड में हेरफेर करने और अधिकारियों को गुमराह करने के आरोप लगे हैं।

मुकदमा दर्ज

असोथर थाना प्रभारी निरीक्षक अभिलाष तिवारी की निगरानी में उपनिरीक्षक सुनील कुमार यादव को विवेचना सौंपी गई है। आरोपियों पर भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 316(5), 319(2), 318(4), 338, 336(3) और 340(2) के तहत मुकदमा पंजीकृत किया गया है।

आगे की कार्रवाई

पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। ग्रामीणों और लाभार्थियों का कहना है कि लंबे समय से मजदूरी भुगतान में धांधली हो रही थी, लेकिन पहली बार इतने बड़े पैमाने पर मामला उजागर हुआ है। प्रशासन का दावा है कि दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी।

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