Uttar Pradesh: चिता में घंटों पड़ा रहा मां का शव, संपत्ति के लिए लड़ती रहीं बेटियां, श्मशान में मंगवाया स्टांप पेपर

डीएन ब्यूरो

उत्तर प्रदेश से मानवाता और मां-बेटियों के रिश्तों को शर्मसार करने वाला एक खौफनाक मामला सामने आया है। बटियों के बीच संपत्ति की लड़ाई को लेकर उनकी मां का शव घंटों श्मसान में पड़ा रहा। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

श्मशान में मंगवाया स्टांप पेपर
श्मशान में मंगवाया स्टांप पेपर


मथुरा: पैतृक संपत्ति के बंटवारे को लेकर तीन बेटियों के बीच जिस तरह की लड़ाई का मामले सामने आया है, उससे मानवता भी शर्मसार और हो गई। मथुरा में संपत्ति के लालच में खून के रिश्ते किस कदर खोखले साबित हुए, यह चर्चा का विषय बना हुआ है। यहां मां की मौत के बाद संपत्ति पर कब्जे के लिए उसकी तीन बेटियां लड़ती रहीं और शव श्मशान घाट में घंटों तक चिता पर पड़ा रहा। बाद में श्मशान घाट पर ही स्टांप पेपर मंगवाकर संपत्ति का बंटवारा हुआ, जिसके बाद मृतक महिला को मुखाग्नि दी गई।

यह घटना नगला छीता गांव की है। छीता गांव निवासी पुष्पा देवी (90) की रविवार को मौत हो गई। अंतिम संस्कार के लिए उसका शव गोविंद नगर इलाके में बिरला मंदिर के पास मसानी स्थित श्मशान घाट ले जाया गाय। लेकिन वहां एक शर्मनाक वाकया सामने आया। पुष्पा देवी का शव सात घंटे तक चिता में रखा रहा, क्योंकी उनकी बेटियों के बीच चार बीघा जमीन के बंटवारे को लेकर दूसरी तरफ लड़ाई होती रही। 

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक मृतका पुष्पा की केवल तीन बेटियां- मिथिलेश, सुनीता और शशि है। बीते कुछ दिनों से पुष्पा अपनी बड़ी बेटी मिथिलेश के थाना यमुनापार स्थित लोहवन गांव में रह रही थी। 

 

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डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार पुष्पा की मौत के बाद उसकी तीनों बेटियों के बीच जमीनी हक को लेकर लड़ाई शुरू हो गई और कई घंटे तक महिला का अंतिम संस्कार नहीं हो सका। जमीन को लेकर श्मशान घाट पर पुष्पा का शव रखा रहा और बेटियां लड़ती रहीं। मामले का निपटारा न होने तक मृतक पुष्पा को मुखाग्नि भी नहीं दी जा सकी।

चिता पर शव करीब 8-9 घंटों तक रखा रहा। अंतिम संस्कार में शामिल और शव यात्रा में आये लोगों ने मृतका की तीनों बेटियों को जमकर लताड़ लगाई। श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार की विधि सम्पन्न कराने आए पंडित भी घाट से लौटने लगे। 

श्मशान घाट पर बेटियों के लगातार ड्रामा बढ़ता गया। बाद में श्मशान घाट पर ही स्टाम्प पेपर मंगाया गया और जमीन का लिखित बंटवारा कराया गया, जिसके बाद पुष्पा का अंतिम संस्कार पूरा हो सका। 

आरोप है कि बड़ी बेटी मिथिलेश ने अपनी मां पुष्पा को झांसे में लिया और उसकी करीब डेढ़ बीघा जमीन को बेच दिया था, जिसके कारण तीनों बहनों और मृतक महिला की बेटियों के बीच झगड़ा हुआ। यह घटना यहां चर्चा का विषय बनी हुई है।










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