Sultanpur Encounter: मानवाधिकार आयोग पहुंचा मंगेश यादव एनकाउंटर मामला
यूपी में गुरुवार को मंगेश यादव एनकाउंटर का मामला मानवाधिकार आयोग पहुंच गया है। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
सुल्तानपुर: यूपी के सुल्तानपुर (Sultanpur) में ज्वैलर्स डकैती कांड (Jewelers robbery case) के आरोपी मंगेश यादव (Mangesh Yadav) को पुलिस ने गुरुवार को एनकाउंटर (Encounter) मार गिराया जिस पर राजनीति शुरु हो गई। समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने आरोपी मंगेश को पुलिस (Police) द्वारा फर्जी एनकाउंटर में मारे जाने का आरोप लगाया है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार इलाहाबाद हाईकोर्ट के वकील डा० गजेंद्र सिंह यादव ने पुलिस एनकाउंटर पर सवाल उठाते हुए इस मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग में केस दर्ज कराया है।
मानवाधिकार आयोग से जांच की मांग
शिकायतकर्ता वकील गजेंद्र सिंह यादव ने बताया कि घटनाक्रम, परिस्थितियों और घटनास्थल को देखने के बाद ऐसा लगता है कि मंगेश यादव को फर्जी एनकाउंटर में मारा गया है।
उन्होंने कहा कि यह भी कहा गया है कि जब डकैती कांड में मुख्य आरोपी ने सरेंडर कर दिया था तब सह आरोपी मंगेश यादव भी आत्म समर्पण कर देता। इसके अलावा किसी भी सूरत में यह संभावना कतई नहीं बनती कि आरोपी पुलिस पर गोली चलाता। परिस्थितियों को देखने से साफ है कि यह फर्जी मुठभेड़ है।
स्वतंत्र एजेंसी से जांच कराने की मांग
वकील गजेंद्र सिंह यादव ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को भेजी गई शिकायत में इस एनकाउंटर पर सवाल उठाते हुए पूरे मामले की जांच यूपी पुलिस को छोड़कर बाकी किसी स्वतंत्र एजेंसी से कराए जाने की मांग की है। मंगेश यादव को यूपी एसटीएफ ने सुल्तानपुर के कोतवाली देहात थाने के मिश्रपुर पुरैना के पास एनकाउंटर में मार गिराया था।
यह भी पढ़ें |
Dynamite Alert: सुल्तानपुर के मंगेश यादव एनकाउंटर की इनसाइड स्टोरी
पुलिस की तरफ से जानकारी दी गई थी वह जौनपुर की तरफ भागने की फिराक में था। पुलिस की जवाबी फायरिंग में उसे गोली लगी और उसकी मौत हो गई।
अखिलेश यादव ने बताया फर्जी एनकाउंटर
अखिलेश यादव ने कहा कि यह प्रतीत होता है कि सुल्तानपुर की डकैती में शामिल लोगों से सत्ता पक्ष का गहरा संपर्क था। इसीलिए नकली एनकाउंटर से पहले ‘मुख्य आरोपी’ से संपर्क साधकर सरेंडर करा दिया गया। अन्य के पैरों पर सिर्फ दिखावटी गोली मारी गई और एक की जाति देखकर उसकी जान ले ली गई।
उन्होंने कहा कि जब मुख्य आरोपी ने सरेंडर कर दिया है तो लूट का सारा माल भी वापस होना चाहिए। सरकार को पीड़ित कारोबारी को मुआवजा भी देना चाहिए।
यह भी पढ़ें |
सुल्तानपुर एनकाउंटर पर सियासत तेज, उठे सवाल? पहुंचा सपा डेलिगेशन
दो दिन पहले जिसको उठाया और एनकाउंटर के नाम पर बंदूक़ सटाकर गोली मारकर हत्या की गयी। अब उसकी मेडिकल रिपोर्ट बदलवाने का दबाव डाला जा रहा है। इस संगीन शासनीय अपराध का सर्वोच्च न्यायालय तुरंत संज्ञान ले, इससे पहले की सबूत मिटा दिये जाएं।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) September 5, 2024