Jammu & Kashmir: पुलवामा में आतंकवादियों ने कश्मीरी पंडित सुरक्षा गार्ड की गोली मारकर हत्या कर दी

डीएन ब्यूरो

जम्मू कश्मीर के पुलवामा जिले में आतंकवादियों ने कश्मीरी पंडित समुदाय के 40 वर्षीय एक व्यक्ति की उस वक्त गोली मारकर हत्या कर दी, जब वह स्थानीय बाजार जा रहे थे। पुलिस ने यह जानकारी दी। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर

पुलवामा में आतंकियों के हाथों मारे गये संजय शर्मा के परिजन विलाप करते हुए
पुलवामा में आतंकियों के हाथों मारे गये संजय शर्मा के परिजन विलाप करते हुए


श्रीनगर:जम्मू कश्मीर के पुलवामा जिले में आतंकवादियों ने कश्मीरी पंडित समुदाय के 40 वर्षीय एक व्यक्ति की उस वक्त गोली मारकर हत्या कर दी, जब वह स्थानीय बाजार जा रहे थे। पुलिस ने यह जानकारी दी।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार कश्मीर घाटी में अल्पसंख्यक समुदाय के सदस्यों की लक्षित हत्या की यह एक और घटना है।

पुलिस ने बताया कि एक एटीएम के सुरक्षा गार्ड के तौर पर काम करने वाले संजय शर्मा पर दक्षिण कश्मीर स्थित पुलवामा जिले के अचन इलाके में पूर्वाह्न करीब 11 बजे गोली चलाई गई, जो उनके सीने में लगी। उन्होंने बताया कि राहगीर उन्हें एक अस्पताल ले गये, जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। यह हमला शर्मा के आवास से महज 100 मीटर की दूरी पर किया गया।

उनके सहकर्मियों ने कहा कि कश्मीरी पंडित समुदाय के सदस्यों पर पूर्व में हुए हमलों के बाद से वह रात की ड्यूटी पर नहीं जा रहे थे।

उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और राजनीतिक दलों के नेताओं ने हत्या की निंदा की। सिन्हा ने कहा कि उनके प्रशासन ने आतंकवादियों से निपटने के लिए सुरक्षा बलों को खुली छूट दी है।

उन्होंने यहां एक बयान में कहा, ‘‘शोकाकुल परिवार के प्रति मेरी संवेदना है। प्रशासन को आतंकवादियों से निपटने के लिए खुली छूट दी गई है और हम आतंकवाद की इस तरह की हरकतों का मुकाबला करना जारी रखेंगे।’’

कश्मीर जोन की पुलिस ने एक ट्वीट में कहा, ‘‘आतंकवादियों ने पुलवामा में अल्पसंख्यक समुदाय से ताल्लुक रखने वाले एवं अचन इलाके के निवासी काशीनाथ शर्मा के बेटे संजय शर्मा पर उस वक्त गोली चलाई, जब वह स्थानीय बाजार जा रहे थे।’’

पुलिस उपमहानिरीक्षक (डीआईजी), दक्षिण कश्मीर क्षेत्र, रईस भट्ट ने कहा कि यह एक सुनियोजित हमला था। उन्होंने बताया कि घटना वाले गांव में सशस्त्र बलों को तैनात किया गया है।

उन्होंने कहा, ‘‘हमने यहां भी सुरक्षा इंतजाम किये हैं। किन परिस्थितियों में यह हमला हुआ, वह जांच का विषय है। हम जांच में सामने आने वाले तथ्यों के आधार पर आगे की कार्रवाई करेंगे।’’

डीआईजी ने कहा, ‘‘इस अपराध में संलिप्त आतंकवादियों का जल्द पता लगा लिया जाएगा और मार गिराया जाएगा...हम आतंकवादियों को उनके नापाक मंसूबों में सफल नहीं होने देंगे।’’

इस साल कश्मीर में अल्पसंख्यक समुदाय के सदस्य पर हुआ यह पहला हमला है।

पिछले साल, आतंकवादियों ने नागरिकों पर करीब 30 हमले किये थे, जिनमें तीन कश्मीरी पंडित, राजस्थान से एक बैंक प्रबंधक, जम्मू की एक शिक्षिका और आठ बाहरी श्रमिक सहित 18 लोग मारे गये थे।

नेशनल कांफ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि यह बर्बर हत्या कश्मीर घाटी में सुरक्षा की स्थिति और कानून व्यवस्था की स्थिति पर सवाल खड़े करती है।

उन्होंने कहा, ‘‘मैं संजय जी की बर्बर हत्या के बारे में जानकर बहुत दुखी हूं। शोक संतप्त परिवार को मेरी संवेदना और समर्थन है। इस हत्या ने एक बार फिर घाटी में सुरक्षा की स्थिति और कानून व्यवस्था पर सवाल पैदा किया है।’’

नेकां उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने एक ट्वीट में कहा, ‘‘ बहुत दुखद...संजय एक बैंक सुरक्षा गार्ड के रूप में काम कर रहे थे और वह आज एक आतंकी हमले में मारे गये। मैं इस हमले की निंदा करता हूं और उनके प्रियजनों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं।’’

पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने कश्मीरी पंडितों की रक्षा करने में विफल रहने के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत केंद्र सरकार को दोषी ठहराया। जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री ने हमले के साजिशकर्ताओं पर भी निशाना साधा।

उन्होंने अनंतनाग में पत्रकारों से कहा, ‘‘कुछ दिन पहले दक्षिणपंथी आतंकवादियों ने राजस्थान में मुस्लिम समुदाय के दो सदस्यों की हत्या कर दी थी। आज आपने हिंदू समुदाय के एक व्यक्ति को मार डाला। आपमें और उनमें क्या अंतर है?’’

मुफ्ती ने भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार पर कश्मीर में अल्पसंख्यकों के जीवन को खतरे में डालने का आरोप लगाया।

नेकां के मुख्य प्रवक्ता तनवीर सादिक ने हत्या की निंदा करते हुए इसे दुर्भाग्यपूर्ण घटना बताया।

उन्होंने कहा, ‘‘बहुसंख्यक समुदाय के रूप में हमें अल्पसंख्यकों की सुरक्षा सुनिश्चित करनी चाहिए।’’ उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार ऐसा करने में विफल रही है।

पूर्व मुख्यमंत्री गुलाम नबी आजाद ने कहा, ‘‘कोई भी हत्या, खासतौर पर लक्षित हत्या गहरी चिंता का विषय है और निंदनीय है। हम इसकी निंदा करते हैं।’’

भाजपा की जम्मू कश्मीर इकाई के महासचिव (संगठन) अशोक कौल ने कहा कि सरकार को हमले के दोषियों को पकड़ने के और सजा दिलाने के लिए सुरक्षा घेरा मजबूत करना चाहिए।

कांग्रेस की जम्मू कश्मीर इकाई ने एक बयान में कहा, ‘‘इस जघन्य अपराध को अंजाम देने वालों की पहचान कर सजा दी जानी चाहिए।’’

मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के नेता एम वाई तारिगामी ने एक ट्वीट में कहा,‘‘इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना ने पिछले साल घाटी में हुई लक्षित हत्याओं की याद दिला दी। शोक संतप्त परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त करता हूं।’’

अपनी पार्टी के प्रमुख अल्ताफ बुखारी ने हमले को बर्बर और जघन्य बताया।

उन्होंने एक ट्वीट में कहा, ‘‘इस तरह का जघन्य कृत्य सिर्फ मौत और पीड़ा छोड़ कर जाता है। मैं इसकी निंदा करता हूं। परिवार के प्रति मेरी संवेदना है।’’










संबंधित समाचार