

बलरामपुर में क्षत्रिय एकता मंच ने मंगलवार को सड़क पर उतरकर प्रदर्शन किया। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की रिपोर्ट
बलरामपुर: क्षत्रिय एकता मंच ने मंगलवार को समाजवादी पार्टी के सांसद रामजी सुमन के महाराणा सांगा पर विवादित बयान का विरोध किया। विरोध प्रदर्शन में सैकड़ों की संख्या में कार्यकर्ता मोटरसाइकिल लेकर सड़क पर उतरे और जोरदार प्रदर्शन किया।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, जिले में सपा सांसद राम जी सुमन के महाराणा सांगा पर विवादित बयान को विरोध प्रदर्शन किया गया। सैकड़ो मोटरसाइकिल वाहनों से मंच के लोगों ने वीर विनय चौक पर एकत्रित होकर कलेक्ट्रेट तक प्रदर्शन किया।
सपा सांसद के सदस्यता रद्द करने को लेकर जिला अधिकारी प्रतिनिधि एसडीएम को ज्ञापन देकर त्वरित कार्रवाई की मांग की है।
क्षत्रिय एकता मंच के अध्यक्ष अमरेश बहादुर सिंह एवं संरक्षक खगई जोत प्रधान आशीष कुमार सिंह की अगुवाई में सैकड़ो की तादाद में लोगों ने वीर विनय चौक पर एकत्रित हुए।
प्रदर्शन को संबोधित करते हुए अध्यक्ष ने कहा कि सपा सांसद राम जी सुमन का बयान जानबूझकर देश पर कुर्बान होने वाले महापुरुषों को अपमानित करना है। जिसे भारत की जनता बर्दाश्त नहीं करेगी। उन्होंने मुख्यमंत्री एवं प्रधानमंत्री से मांग की है कि इनकी सदस्यता रद्द किया जाना ही जनमानस के हित में होगा।
मंच के संरक्षक ने कहा कि सपा सांसद में सदन के अंदर महान सैलानी एवं राष्ट्रपति महाराणा संग्राम सिंह पर अवध टिप्पणी की है इस बयान से पूरे समाज एवं देशवासियों में रोष व्याप्त है। प्रदर्शन कार्यो ने नारेबाजी करते हुए राणा सांगा का अपमान हिंदुस्तान नहीं सहेगा के नारे लगाते हुए सपा सांसद के खिलाफ कठोर कार्रवाई की मांग की है।
कार्यकर्ताओं ने वीर विनय चौक से सदर तहसील होते हुए कलेक्ट्रेट पहुंच कर प्रदर्शन करते हुए जिला अधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा है।
प्रदर्शन के दौरान मंच के महामंत्री राजा प्रवीण सिंह ने कहा कि सपा सांसद का बड़बोला पर तौर पर राष्ट्र के महापुरुषों को अपमानित करने का साजिश है जिसे भारत की जनता एवं क्षत्रिय समाज बर्दाश्त नहीं करेगा।
कार्यकर्ताओं ने सपा सांसद को बाबर कहकर विरोध किया है।
प्रदर्शन में पूर्व प्रधान जितेंद्र सिंह, प्रवीण सिंहबिल्लू, संजय सिंह, पिंकू सिंह, गुड्डू प्रताप, अजय सिंह, राजा सिंह, पिंटू सिंह, राहुल प्रताप सिंह, अजय कुमार सिंह, शैलेंद्र प्रताप सिंह, आनंद स्वरूप सिंह, दद्दू सिंह, मझले सिंह, प्रशांत सिंह अनिल सिंह आदि सैकड़ो मंच पदाधिकारी एवं क्षत्रिय समाज के बुद्धिजीवी शामिल रहे हैं।