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बिहार के नवादा जिले के रोह प्रखंड में 5 दिसंबर को हुई मॉब लिंचिंग में अतहर हुसैन की बर्बरता से हत्या कर दी गई। इलाज के दौरान 12 दिसंबर को उनकी मौत हो गई, और इस घटना ने समाज में फैलती नफरत और कानून-व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार किया है और मामले की जांच जारी है।
मॉब लिंचिंग (Img: Google)
Nawada: बिहार के नवादा जिले के रोह प्रखंड के भट्टा गांव में 5 दिसंबर को एक दिल दहला देने वाली घटना हुई। जिसमें अतहर हुसैन को भीड़ ने बेरहमी से पीट-पीटकर गंभीर रूप से घायल कर दिया। इलाज के दौरान 12 दिसंबर की रात बिहार शरीफ सदर अस्पताल में अतहर की मौत हो गई। अब उसकी मौत को लेकर मृतक अतहर हुसैन की पत्नी शबनम प्रवीण अपने बच्चों के साथ न्याय की गुहार लगा रही हैं। उन्होंने कहा कि मेरे शौहर को सिर्फ इसलिए मार डाला गया क्योंकि उनका धर्म अलग था। हमें न प्रशासन का साथ मिला और न ही इंसाफ मिला है, हमें न्याय चाहिए।
अतहर हुसैन पिछले करीब 20 सालों से नवादा में कपड़े बेचकर अपने परिवार का पालन-पोषण कर रहे थे। इस इलाके में उन्हें सभी लोग अच्छे से जानते थे।। 5 दिसंबर को शाम के समय जब डुमरी गांव से लौटते हुए भट्टा गांव में प्रवेश किया। तब 6-7 नशे में धुत युवकों ने उन्हें घेर लिया। पहले उनका घर का पता फिर उनका नाम पूछा गया। जैसे ही अतहर ने अपना नाम मोहम्मद अतहर हुसैन बताया। भीड़ ने उन्हें साइकिल से उतार लिया। उनके हाथ-पैर बांधकर एक कमरे में घसीटा गया।
अतहर हुसैन को गंभीर अवस्था में अस्पताल में भर्ती कराया गया था। पहले नवादा और बिहार शरीफ अस्पताल भेजा गया। उनके शरीर पर जख्म गहरे थे। उन्होंने 12 दिसंबर की रात दम तोड़ दिया। उनका पोस्टमॉर्टम नालंदा सदर अस्पताल में फॉरेंसिक टीम और मजिस्ट्रेट की निगरानी में किया गया। इस घटना के बाद उनके परिवार में एक गहरा शोक छा गया है।
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पुलिस अधिकारियों ने बताया कि मामले में FIR दर्ज की गई है। अब तक 4 आरोपियों सोनू कुमार, रंजन कुमार, सचिन कुमार और श्री कुमार को गिरफ्तार किया जा चुका है। फरार आरोपियों की तलाश जारी है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।