

उत्तरकाशी में यमनोत्री पैदल मार्ग पर भूस्खलन की बड़ी घटना सामने आयी है। जानिए डाइनामाइट न्यूज की पूरी खबर
यमनोत्री पैदल मार्ग पर दरका पहाड़
उत्तरकाशी: उत्तराखंड में चारधाम यात्रा का दौर जारी है। मानसून शुरू होते ही पहाड़ में भूस्खलन की घटनाएं सामने आने लगी हैं। इस बीच सोमवार दोपहर को यमुनोत्री पैदल मार्ग पर भयानक हादसा हो गया। एक पहाड़ दरक कर नीचे आ गया जिसके नीचे कई यात्री दब गये। एक बच्ची का शव मलबे से निकाला गया। एसडीआरएफ की टीम अन्य दबे हुए लोगों को मलबे से निकालने में जुटी है।
उत्तरकाशी जिला सूचना अधिकारी ने बताया कि सोमवार दोपहर बाद 4.12 बजे बिना बारिश के बाद यमुनोत्री पैदल मार्ग पर नौ कैंची बैंड के पास अचानक पहाड़ी टूट गई. पहाड़ी के मलबे में कुछ तीर्थयात्रियों के दबने की आशंका जताई जा रही है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार फिलहाल सुरक्षा के मद्देनजर पुलिस ने नौ कैंची बैंड के पास पैदल आवाजाही पर रोक लगा दी। एसडीआरएफ और यमुनोत्री पुलिस की टीम मौके के लिए रवाना हो गई है। मलबा हटाने के बाद ही पता चल पाएगा कि कितने यात्री इसकी चपेट में आए हैं।
मौक पर रेस्क्यू अभियान में जुटी टीम
जानकीचट्टी चौकी प्रभारी गंभीर सिंह तोमर ने कहा कि सूचना मिलते ही पुलिस प्रशासन और एसडीआरएफ मौके पर है। फिलहाल सुरक्षा के लिहाज से यात्रा मार्ग पर आवाजाही रोक दी गई है।
जानकारी के अनुसार, एसडीआरएफ ने मुंबई निवासी एक यात्री रसिक(60) को अस्पताल पहुंचाया है। डाक्टर हरदेव सिंह पंवार के अनुसार यात्री के सर पर चोटें हैं। लेकिन खतरे से बाहर है। वहीं, एक बच्ची का शव मिला है।
एसडीएम बृजेश कुमार तिवारी ने बताया कि यमुनोत्री धाम की ओर फंसे सैकड़ों श्रद्धालुओं को सुरक्षित निकाला जा रहा है। वहीं, यमुनोत्री धाम जाने वाले श्रद्धालुओं को सुरक्षित स्थानों पर रोका गया है।
वहीं जिलाधिकारी प्रशांत कुमार आर्या द्वारा स्मार्ट कंट्रोल रूम से लगातार निगरानी की जा रही है. सभी संबंधित एजेंसियों को तत्काल प्रभावित क्षेत्र पर पहुंचाकर राहत बचाव कार्य करने के निर्देश दिए गए हैं।
प्रशासन ने यात्रियों से अपील की है कि वे अफवाहों से बचें और प्रशासन द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का पालन करें। यमुनोत्री यात्रा मार्ग पर फिलहाल स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है।
मौसम विज्ञान विभाग ने 22 से 26 जून तक राज्य के देहरादून, नैनीताल, टिहरी, चंपावत में कहीं-कहीं पर भारी वर्षा होने की संभावना जताई है। इसके मद्देनजर यूएसडीएमए के अधीन राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र (एसओईसी) ने संबंधित जिलों के डीएम को पत्र भेजकर सावधानी बरतने को कहा है। इसमें आपदा प्रबंधन आईआरएस के नामित अधिकारी व विभागीय नोडल अधिकारी अलर्ट पर रहेंगे।