

हरदोई के शाहाबाद कोतवाली क्षेत्र के गिगियानी मोहल्ले में एक कच्ची दीवार गिरने से 35 बकरियों की दर्दनाक मौत हो गई। बकरियों के व्यापारी खालिद कुरैशी को इस हादसे में करीब 2.5 लाख रुपये का नुकसान हुआ। घटना की जानकारी मिलते ही ग्रामीणों और प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर रेस्क्यू शुरू किया। लगातार बारिश से कमजोर हुई दीवार हादसे का कारण बनी। परिवार गहरे सदमे में है। प्रशासन से सहायता की उम्मीद कर रहा है।
पीड़ित व्यक्ति
Hardoi News: उत्तर प्रदेश के हरदोई जनपद के शाहाबाद कोतवाली क्षेत्र के गिगियानी मोहल्ले में मंगलवार को एक दर्दनाक हादसा हो गया। एक कच्ची दीवार अचानक भरभराकर गिर पड़ी, जिसके नीचे दबकर करीब 35 बकरियों की मौके पर ही मौत हो गई। घटना से पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई और पशुपालक परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा।
बकरियों के व्यापारी को भारी नुकसान
मोहल्ला गिगियानी निवासी खालिद कुरैशी उर्फ नन्हे मियां वर्षों से बकरियों का पालन-पोषण और व्यापार करते आ रहे हैं। उनके पास करीब 55 बकरियां और उनके बच्चे थे, जिन्हें एक सुरक्षित स्थान पर बांधकर रखा गया था। मंगलवार को अचानक उनकी बाड़े के पास बनी पुरानी कच्ची दीवार गिर गई, जिससे बकरियों के ऊपर मलबा गिर पड़ा। इस भीषण हादसे में लगभग 35 बकरियों की मौके पर मौत हो गई, जबकि शेष जानवरों को निकालने का कार्य देर शाम तक जारी रहा।
ढाई लाख रुपये का अनुमानित नुकसान
इस दुर्घटना में खालिद को लगभग 2.5 लाख रुपये का आर्थिक नुकसान हुआ है। उनके अनुसार ये बकरियां उनकी जीविका का मुख्य स्रोत थी और वह कई वर्षों से इन्हें पाल रहे थे। अचानक हुई इस आपदा ने उनकी वर्षों की मेहनत और पूंजी एक ही झटके में छीन ली।
मौके पर जुटे ग्रामीण, चला रेस्क्यू ऑपरेशन
हादसे की जानकारी मिलते ही आसपास के लोग मौके पर पहुंचे और मलबा हटाने व बकरियों को निकालने में जुट गए। ग्रामीणों ने फावड़ों और हाथों से मिट्टी हटाकर मृत बकरियों को बाहर निकाला। इस दौरान कुछ जिंदा बकरियों को भी मलबे से बाहर निकालकर सुरक्षित किया गया।
प्रशासनिक अमला मौके पर पहुंचा
घटना की सूचना मिलने पर क्षेत्रीय लेखपाल मौके पर पहुंचे और घटनास्थल का निरीक्षण किया। प्रारंभिक जांच में बताया गया कि लगातार हो रही बारिश के चलते दीवार की नींव कमजोर हो गई थी, जिससे यह हादसा हुआ। अधिकारियों ने नुकसान का आकलन कर रिपोर्ट तैयार करने की बात कही है।
परिवार सदमे में, ग्रामीणों ने जताया दुख
खालिद कुरैशी और उनका परिवार इस दर्दनाक हादसे से सदमे में है। उनकी आंखों से आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे। स्थानीय लोगों और पशुपालकों ने भी इस घटना पर गहरा दुख जताया और प्रशासन से आर्थिक सहायता की मांग की है। ग्रामीणों का कहना है कि इस तरह के हादसे लगातार हो रही बारिश और पुराने निर्माणों की उपेक्षा से होते हैं।