DN Exclusive: फरेन्दा को जिला बनाये जाने की क्या है हकीकत? क्या नये जिले में शामिल होंगे नौतनवा और कैंपियरगंज?

डीएन संवाददाता

पिछले दो दिन से गोरखपुर से लेकर महराजगंज तक एक ही चर्चा है कि क्या फरेन्दा, नौतनवा और कैंपियरगंज तहसीलों को मिलाकर फरेन्दा नाम का नया जिला बनने जा रहा है। इस खबर के हकीकत की पड़ताल की डाइनामाइट न्यूज़ ने। पढ़ें पूरी खबर

नये जनपद की बात कितनी सच? (प्रतीकात्मक फोटो)
नये जनपद की बात कितनी सच? (प्रतीकात्मक फोटो)


लखनऊ: फिलहाल फरेन्दा, नौतनवा और कैंपियरगंज तहसीलों को मिलाकर फरेन्दा नाम का नया जिला नहीं बनेगा। 

एक पुराने मामले को लेकर शासन से मांगी गयी रिपोर्ट का पत्र वायरल होने से इस चर्चा को बल मिला।

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इसकी हकीकत डाइनामाइट न्यूज़ ने जब पता की तो जानकारी मिली कि फरेन्दा विधानसभा के एक पूर्व मंत्री ने काफी पहले विधानसभा की आश्वासन समिति को पत्र लिख कहा था कि फरेन्दा, नौतनवा और कैंपियरगंज तहसीलों को मिलाकर फरेन्दा नाम का नया जिला बना दिया जाये। 

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इसी समिति के पत्राचार के क्रम में गोरखपुर और महराजगंज के अफसरों से रिपोर्ट मांगी गयी। रिपोर्ट में शासन को बताया गया कि फिलहाल फरेन्दा को जिला बनाये जाने का कोई औचित्य नहीं है। महराजगंज के एक वरिष्ठ अफसर ने रिपोर्ट दी कि यदि दो तहसीलों को यहां से निकाल दिया जायेगा तो महराजगंज जिले का औचित्य ही समाप्त हो जायेगा। 

इस बारे में डाइनामाइट न्यूज़ ने उत्तर प्रदेश सरकार के पूर्व कैबिनेट मंत्री और कैपियरगंज विधानसभा के भाजपा विधायक फतेह बहादुर सिंह से बात की तो उन्होंने कहा कि कैपियरगंज विधानसभा की जनता मुख्यमंत्री के नेतृत्व में रहेगी। कैपियरगंज तहसील को फरेन्दा में जोड़े जाने की बात पूरी तरह निराधार है। राजस्व विभाग की त्रुटि के कारण ये गलतफहमी फैली है। फरेन्दा नाम का कोई जिला नहीं बनने जा रहा है।










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