भारत में सर्विस सेक्टर की गतिविधियां पड़ी धीमी, जानिये नए कारोबार से संबंधित ये खास बातें

डीएन ब्यूरो

भारत में सेवा क्षेत्र की गतिविधियां मार्च में धीमी पड़ गईं, जो फरवरी में 12 साल के उच्च स्तर पर पहुंच गईं थीं। एक सर्वेक्षण में बुधवार को बताया गया कि नए कारोबारी ठेके मिलने की रफ्तार धीमी रहना इसकी वजह है। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर

अर्थशास्त्र की संयुक्त निदेशक पॉलियाना डी लीमा
अर्थशास्त्र की संयुक्त निदेशक पॉलियाना डी लीमा


नयी दिल्ली: भारत में सेवा क्षेत्र की गतिविधियां मार्च में धीमी पड़ गईं, जो फरवरी में 12 साल के उच्च स्तर पर पहुंच गईं थीं। एक सर्वेक्षण में बुधवार को बताया गया कि नए कारोबारी ठेके मिलने की रफ्तार धीमी रहना इसकी वजह है।

मौसमी रूप से समायोजित एसएंडपी ग्लोबल भारत सेवा पीएमआई कारोबारी गतिविधि सूचकांक फरवरी के 59.4 से घटकर मार्च में 57.8 हो गया।

सेवा पीएमआई का सूचकांक लगातार 20वें महीने 50 से ऊपर बना हुआ है। खरीद प्रबंधक सूचकांक (पीएमआई) की भाषा में 50 से ऊपर अंक का मतलब है कि गतिविधियो में विस्तार हो रहा है, जबकि 50 से कम अंक संकुचन को दर्शाता है।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार एसएंडपी ग्लोबल मार्केट इंटेलिजेंस में अर्थशास्त्र की संयुक्त निदेशक पॉलियाना डी लीमा ने कहा, ‘‘2022-23 की अंतिम तिमाही के अंत में भारत का सेवा क्षेत्र फरवरी में मिली गति के बूते आगे बढ़ा और नए कारोबारी ठेकों तथा उत्पादन में वृद्धि से इसे समर्थन मिला। हालांकि वृद्धि का मुख्य कारक विनिर्माण क्षेत्र ही बना रहा।’’

रोजगार के मोर्चे पर, सर्वे में सामने आया कि मौजूदा जरूरतों के लिए कंपनियों के पास पर्याप्त क्षमता है जिससे रोजगार सृजन बाधित हुआ।

लीमा ने कहा, ''सेवा क्षेत्र में रोजगार मार्च में मामूली रूप से बढ़ा है, हालांकि इसमें लगातार दसवें महीने बढ़ोतरी देख गई है। सर्वे के 98 प्रतिशत प्रतिभागियों ने कहा कि मौजूदा जरूरतों के लिहाज से उनके पास पर्याप्त मानव संसाधन हैं इसलिए उन्होंने नई भर्ती नहीं की।’’

एसएंडपी ग्लोबल भारत सेवा पीएमआई को सेवा क्षेत्र की लगभग 400 कंपनियों के बीच किए गए सर्वेक्षण के आधार पर तैयार किया जाता है।










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