Pitru Paksha 2022: श्राद्ध पक्ष की तिथियों में भ्रम से बचें, यहां जानिये पंचांग के मुताबिक सही तिथि व समय

डीएन ब्यूरो

श्राद्ध की 16 तिथियां होती हैं, जिसमें पितरों के श्राद्ध किए जाते हैं। इस बार श्राद्ध पक्ष की तिथि में काफी भ्रम की स्थिति बनी हुई है। डाइनामाइट न्यूज़ की रिपोर्ट में जानें श्राद्ध की सही तिथि व समय

प्रतीकात्मक चित्र
प्रतीकात्मक चित्र


नई दिल्ली: पितृ पक्ष 10 सितंबर से शुरू हो चुका है। ऐसे में कई लोगों का ये मानना है कि पितृ पक्ष की तृतीया सोमवार को है। लेकिन ऐसा नहीं है। पंचांग के मुताबिक पितृ पक्ष की तृतीया मंगलवार को मानी गई है। ऐसे में जो लोग तृतीया के दिन श्राद्ध की पूजा करते हैं, उनके लिए मंगलवार यानी 13 सितंबर को पूजा करना सही रहेगा।

बता दें कि श्राद्ध की 16 तिथियां होती हैं। पूर्णिमा, प्रतिपदा, द्वि‍तीया, तृतीया, चतुर्थी, पंचमी, षष्टी, सप्तमी, अष्टमी, नवमी, दशमी, एकादशी, द्वादशी, त्रयोदशी, चतुर्दशी और अमावस्या। इन तिथियों में पितरों के श्राद्ध किए जाते हैं। इस बार श्राद्ध पक्ष की तारीख में काफी भ्रम की स्थिति बनी हुई है।

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अलग-अलग पंचांगों में डेट को लेकर अलग-अलग बातें कही गई हैं। श्राद्ध किस तारीख में करें इसको लेकर लोग चिंता में हैं क्योंकि डेट सही नहीं हुई तो पितरों की आत्मा संतुष्ट नहीं होगी और वह भूखे प्यासे रह जाएंगे।

आज सोमवार को द्वि‍तीया का श्राद्ध है और कल तृतीया  का श्राद्ध है। हिन्दू धर्म में तिथि बहुत महत्वपूर्ण होती है। हिन्दू धर्म में तिथि, पंचाग और दिन के आधार पर ही कार्य किए जाते है। दिन की शुरूआत में सबसे पहले यह जाना जाता है कि आज की तिथि क्या है?, आज का हिन्दू पंचाग क्या है?, आज का दिन क्या है? और आज कौन सा दिन है? इसलिए हिन्दू पंचाग के अनुसार तीज का श्राद्ध मंगलवार को है।

सोमवार को द्वितीया 11:35 बजे तक है और उसके बाद तृतीया शुरू होगी और कल तृतीया सुबह 10:37 बजे तक और उसके बाद चतुर्थी शुरू होगी। सूर्योदय के समय जो तिथि रहती है उस पर श्राद्ध की तिथि निर्भर करती है।

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जानें सही तारीख

  • पितृ पक्ष द्वितीया तिथि श्राद्ध तर्पण 12 सितंबर
  • पितृ पक्ष तृतीया तिथि श्राद्ध तर्पण 13 सितंबर
  • पितृ पक्ष चतुर्थी तिथि श्राद्ध तर्पण 14 सितंबर
  • पितृ पक्ष पंचमी तिथि श्राद्ध तर्पण 15 सितंबर
  • पितृ पक्ष षष्ठी तिथि श्राद्ध तर्पण 16 सितंबर
  • पितृ पक्ष सप्तमी तिथि श्राद्ध तर्पण 17 सितंबर

जरूर करें ये काम

श्राद्ध कर्म में पूरी श्रद्धा से ब्राह्मणों को तो दान दिया ही जाता है। साथ ही यदि किसी गरीब, जरूरतमंद की सहायता भी आप कर सकें तो बहुत पुण्य मिलता है।

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