महराजगंज: भ्रष्टाचार के वायरस की चपेट में आयी इंटरलॉकिंग सड़क, एक साल में ही क्षतिग्रस्त
भ्रष्टाचार का वायरस हर मजबूत चीज को भी थोड़े समय में ही खत्म कर देता है, इसका उदाहरण जिले में बनी एक इंटरलॉकिंग सड़क के मामले में सामने आया है। डाइनामाइट न्यूज रिपोर्ट..
महराजगंज: कथित भ्रष्टाचार के वायरस के कारण जिले की एक इंटरलॉकिंग रोड ने एक साल के भीतर ही दम तोड़ दिया है। आरोप है कि इस सड़क को बिना किसी टेंडर के नियमों को ताक पर रखकर बनाया गया था। अब यह सड़क जगह-जगह से टूट गयी है। कुछ जागरूक लोगों की शिकायत के बाद विभाग इस सड़क की जांच करने को राजी हो गया है। जांच में दोषी पाये जाने पर सड़क निर्माण कराने वाले ठेकेदार से रिकवरी की जायेगी और उसका लाइसेंस भी रद्द हो सकता है।
यह मामला जिले के निचलौल में बनी नई इंटरलॉकिंग सड़क से जुड़ा हुआ है। विकास के दावों की पोल खोलने वाली इस सड़क के निर्माण को लेकर जनता में इसे बनाने वाले ठेकेदार के खिलाफ रोष है। जांच उपरांत कार्यवाही होने के बादद ठेकेदार का लाइसेंस निरस्त हो सकता है।
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जानकारी के अनुसार निचलौल मैन मार्केट को जाने वाली मुख्य सड़क,जो पराग गुप्ता नमक ठीके की दुकान से होता हुआ जगदीश चाय की दुकान तक है, पर कुछ समय पहले ही इंटरलॉकिंग निर्माण हुआ था। यह अब जगह जगह से टूट गया है।
भाजपा नेता दुर्गा अग्रहरी ने इस सड़क के खिलाफ शिकायत करते हुए मामले के विरुद्ध मोर्चा खोला हुआ है। आरोप है कि इसका निर्माण बिना टेंडर के और नियमों को ताक पर रखकर किया गया। अब जबकि इस सड़क के खिलाफ जांच की बात की जा रही है तो देखना दलचस्प होगा कि इस मामले का सच आखिर है क्या?
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