भारी बारिश और बाढ़ से हुए नुकसान के आकलन को लेकर जानिये ये ताजा अपडेट

डीएन ब्यूरो

केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी ने कहा कि तेलंगाना में भारी बारिश के कारण आई बाढ़ से हुए नुकसान का आकलन करने के लिए सोमवार को एक अंतर मंत्रालयी केंद्रीय दल (आईएमसीटी) राज्य का दौरा करेगा। पढिेय़े पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर

किशन रेड्डी
किशन रेड्डी


हैदराबाद: केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी ने कहा कि तेलंगाना में भारी बारिश के कारण आई बाढ़ से हुए नुकसान का आकलन करने के लिए सोमवार को एक अंतर मंत्रालयी केंद्रीय दल (आईएमसीटी) राज्य का दौरा करेगा।

डाइनामाइट संवाददाता के अनुसार, उन्होंने एक संवाददाता सम्मेलन में राज्य में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) सरकार की आलोचना करते हुए कहा, ‘‘राज्य सरकार स्थिति से पूरी तरह अनभिज्ञ है, जबकि उसके पास राज्य आपदा राहत कोष (एसडीआरएफ) में 900 करोड़ रुपये तक की राशि है, जिसमें केंद्र सरकार का भी योगदान है। आज से केंद्रीय दल बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा कर नुकसान का आकलन करेंगे और वरिष्ठ अधिकारियों से चर्चा करेंगे। मैं तेलंगाना भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की ओर से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और गृह मंत्री का धन्यवाद करता हूं।’’

अधिकारिक सूत्रों के अनुसार, टीम का नेतृत्व राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एनडीएमए) के सलाहकार कुणाल सत्यार्थी करेंगे और इसमें कृषि, वित्त, जल शक्ति, बिजली, सड़क परिवहन और राजमार्ग विभागों तथा राष्ट्रीय सुदूर संवेदी केंद्र (एनआरएससी) के प्रतिनिधि शामिल होंगे।

अधिकारियों ने पहले बताया था कि पिछले हफ्ते राज्य में भारी बारिश के कारण हुई विभिन्न घटनाओं में कम से कम 18 लोगों की जान चली गई।

राज्य के कई हिस्सों में बारिश रुकने से शनिवार से राहत कार्य में तेजी आई है।

एक आधिकारिक विज्ञप्ति में शनिवार रात बताया गया कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव ने मंत्रियों और मुख्य सचिव ए शांति कुमारी से बात करके राहत कार्यों की निगरानी की।

आधिकारिक सूत्रों ने रविवार को कहा था कि मामले की गंभीरता को देखते हुए केंद्रीय टीम 31 जुलाई से तेलंगाना का दौरा करेगी। यह टीम आईएमसीटी दौरे के आधार पर आकलन करके और राज्य सरकार के विस्तृत ज्ञापन के आधार पर दोबारा राज्य का दौरा कर सकती है।

राज्य में पिछले एक सप्ताह में हुई भारी बारिश के कारण निचले इलाकों में पानी भर गया था और राज्य में कई स्थानों पर खेतों को भी काफी नुकसान पहुंचा है।










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