Rajasthan: एससी-एसटी एक्ट में मामला दर्ज होने से परेशान युवा सीए ने की आत्महत्या
एससी-एसटी एक्ट में मामला दर्ज होने के कारण मां की परेशानी से क्षुब्ध युवा चार्टेड एकाउंटेंट ने आत्महत्या करके अपनी जान दे दी। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
जयपुर: राजस्थान की राजधानी जयपुर से एक झकझोरने वाली खबर है। यहां एक 25 साल के एक युवा चार्टेड एकाउंटेंट ने अपने फ्लैट की छत से कूदकर आत्महत्या कर ली। बताया जा रहा है कि युवा सीए एससी-एसटी अधिनियम में कथित तौर पर झूठा मुकदमा दर्ज होने से परेशान था, जिससे क्षुब्ध होकर उसने जान दे दी। मृतक युवक ने आत्महत्या से पहले एक सुसाइड नोट भी छोड़ा है, जिसमें उसने फर्जी केस में फंसाने की बात कही है। साथ ही उसके परिवार को भी बचाने की अपील की है।
आत्महत्या करने वाले सीएम की पहचान 25 साल के रक्षित खंडेलवाल के रूप में की गई। बताया जाता है कि रक्षित की मां के खिलाफ भरतपुर के सेवर थाने में भीम सिंह नामक व्यक्ति ने एससी-एसटी एक्ट में केस दर्ज कराया। मामले में बार-बार की पूछताछ से रक्षित की माँ परेशान थीं। मां की परेशानी से व्यथित होकर रक्षित ने आत्महत्या कर ली।
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रक्षित के पिता का कपड़ों का व्यापार था, जो कोरोना के चलते ठप्प हो गया था और इसके बाद रक्षित पर ही परिवार चलाने का उत्तरदायित्व था। एससी-एसटी मामले को लेकर रक्षित की माँ परेशान हो रही थीं। मां की परेशानी के कारण उसने आत्महत्या कर ली।
रक्षित ने आत्महत्या का कारण बताते हुए एक नोट भी लिखा है। रक्षित ने लिखा है “इस दुनिया में शक्तिशाली लोग हम जैसे मिडिल क्लास लोगों को दबाते हैं। भीम सिंह नाम के व्यक्ति ने मेरे परिवार पर झूठे 420 के केस लगाए। जयपुर और भरतपुर में केस कर दिए। इसके चक्कर में हमारा परिवार इतना परेशान है कि देख नहीं सकता। मेरी मां के खिलाफ तक केस कर दिया। उसका साथ भरतपुर के डिप्टी सतीश वर्मा ने पूरा दिया। आए दिन ये लोग हमें परेशान करते हैं। टीम भेजते हैं। हम लोग कोई क्रिमिनल नहीं हैं। मेरी मां के खिलाफ कार्रवाई की। हमने किसी को कुछ नहीं कहा। फिर भी इन लोगों ने SC-ST का फर्जी केस भरतपुर के सेवर थाने में कर दिया। मैं तो अब हूं नहीं। अब प्लीज मेरे पर परिवार को बचाएं।“