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आरएसएस नेता राम माधव ने पाकिस्तान के आर्मी चीफ की परमाणु धमकी पर तीखा पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि भारत अपनी संप्रभुता की रक्षा के लिए हर परिस्थिति में तैयार है और किसी भी प्रकार की धमकी से डरने वाला देश नहीं है।
राम माधव (Img: Google)
New Delhi: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के वरिष्ठ नेता राम माधव ने हाल ही में पाकिस्तान की ओर से दी गई परमाणु धमकी पर कड़ा बयान दिया है। पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल आसिम मुनीर की ओर से परमाणु विकल्प की ओर इशारा किए जाने पर राम माधव ने साफ कहा कि भारत किसी भी धमकी के आगे झुकने वाला देश नहीं है। उन्होंने कहा कि भारत की सुरक्षा, अखंडता और संप्रभुता सर्वोपरि है और देश अपने हितों की रक्षा के लिए हर कदम उठाने को तैयार है।
राम माधव ने कहा कि आज का भारत पहले जैसा नहीं है। यह एक आत्मनिर्भर और वैश्विक स्तर पर सशक्त राष्ट्र है, जो हर चुनौती का सामना करने में सक्षम है। उन्होंने यह भी जोड़ा कि परमाणु हथियारों की धमकी देकर कोई भी देश भारत को डराने की भूल न करे।
पीएम मोदी के भाषण में RSS का जिक्र
राम माधव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वतंत्रता दिवस भाषण की भी सराहना की, जिसमें मोदी ने RSS का नाम लिया था। उन्होंने कहा, "जब पीएम मोदी ने लाल किले से RSS का उल्लेख किया, तो हम सभी स्वयंसेवकों को गर्व महसूस हुआ।" राम माधव ने कहा कि RSS का सफर अब 100वें वर्ष में प्रवेश करने जा रहा है और यह संस्था समाज में निरंतर अपनी सकारात्मक भूमिका निभा रही है।
अमेरिकी राजनीति पर भी की टिप्पणी
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को लेकर पूछे गए सवाल पर राम माधव ने कहा कि ट्रंप एक 'ट्रांजेक्शनलिस्ट' नेता हैं, जो व्यापक गठबंधनों के बजाय व्यक्तिगत सौदों को प्राथमिकता देते हैं। उन्होंने उदाहरण देते हुए बताया कि ट्रंप ने उत्तर कोरिया जैसे देश से बातचीत की और यही उनकी कार्यशैली रही है। राम माधव ने कहा कि भारत ने ट्रंप के दौर में अपने राष्ट्रीय हितों को सफलतापूर्वक संभाला।
कांग्रेस पर लगाए आरोप
कांग्रेस को आड़े हाथों लेते हुए राम माधव ने कहा कि यह पार्टी राजनीतिक स्वार्थ के लिए हमेशा से RSS का विरोध करती आई है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस और कुछ अन्य दल जानबूझकर समाज में भ्रम फैलाकर संघ के खिलाफ माहौल बनाना चाहते हैं। राम माधव ने स्पष्ट किया कि RSS देश की एकता और संप्रभुता के लिए समर्पित संगठन है और जो भी इसके खिलाफ जाएगा, उसका विरोध होना स्वाभाविक है।