SIR पर चुनाव आयोग की बड़ी बैठक, जानें 5 बड़ी बातें और जरूरी दस्तावेजों की सूची

मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार के कार्यभार संभालने के बाद चुनाव आयोग ने देशभर में मतदाता सूचियों के विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) को लागू करने की तैयारियों पर सीईओ के साथ अहम बैठक की। यह बैठक SIR की रणनीति और देशव्यापी कार्यान्वयन की दिशा में महत्वपूर्ण मानी जा रही है।

Post Published By: Poonam Rajput
Updated : 10 September 2025, 12:58 PM IST
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New Delhi: चुनाव आयोग ने देशभर में मतदाता सूचियों के विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision - SIR) को लागू करने की तैयारियों पर चर्चा के लिए एक अहम बैठक की। यह बैठक मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार के कार्यभार संभालने के बाद सीईओ (मुख्य निर्वाचन अधिकारियों) की तीसरी और सबसे महत्वपूर्ण बैठक मानी जा रही है, जिसमें पूरे देश में SIR लागू करने की रणनीति बनाई गई।

बैठक की 5 बड़ी बातें

  1. देशव्यापी लागू होगा SIR: बिहार में SIR के सफल परीक्षण के बाद अब इसे पूरे देश में लागू करने की योजना बनाई गई है।
  2. 2026 के चुनावों से पहले होगी शुरुआत: SIR प्रक्रिया इस साल के अंत तक उन राज्यों में शुरू हो सकती है जहां 2026 में विधानसभा चुनाव होने हैं – जैसे असम, केरल, पुडुचेरी, तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल।
  3. अवैध प्रवासियों पर फोकस: SIR का मुख्य उद्देश्य अवैध विदेशी प्रवासियों की पहचान कर उन्हें मतदाता सूची से बाहर करना है, खासकर बांग्लादेश और म्यांमार से आए लोगों पर नजर रखी जाएगी।
  4. घर-घर जाकर सत्यापन: चुनाव अधिकारी मतदाता सूची को त्रुटिरहित बनाने के लिए घर-घर जाकर दस्तावेजों की जांच करेंगे।
  5. विपक्ष के आरोपों के बीच पारदर्शिता का दावा: विपक्षी दलों ने भाजपा को फायदा पहुंचाने के लिए डेटा हेराफेरी के आरोप लगाए हैं, जिनके जवाब में चुनाव आयोग ने कहा कि SIR के जरिए पारदर्शी और निष्पक्ष मतदाता सूची सुनिश्चित की जाएगी।

SIR में जरूरी होंगे ये दस्तावेज

SIR प्रक्रिया के तहत, मतदाता बनने या अन्य राज्यों से आए नागरिकों को एक घोषणा पत्र (Declaration Form) देना होगा। इसमें निम्नलिखित दस्तावेजों की जरूरत होगी: जन्म प्रमाण पत्र (अगर आवेदक का जन्म 1 जुलाई 1987 से पहले हुआ हो)। अगर जन्म 1 जुलाई 1987 और 2 दिसंबर 2004 के बीच हुआ है, तो: माता-पिता के जन्मस्थान या जन्मतिथि के दस्तावेज। स्कूल प्रमाण पत्र या सरकारी दस्तावेज जिनसे नागरिकता सिद्ध हो सके।

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चुनाव आयोग की यह पहल मतदाता सूची को अद्यतन, सटीक और अवैध प्रवासियों से मुक्त करने की दिशा में एक बड़ा कदम है। SIR प्रक्रिया के तहत पारदर्शिता बनाए रखने के लिए आयोग ने सख्त दिशानिर्देश और अतिरिक्त दस्तावेजी प्रावधान लागू किए हैं। आने वाले चुनावों से पहले यह प्रक्रिया और भी महत्वपूर्ण हो जाती है।

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