Patna: बिहार विधानसभा चुनाव के पहले चरण में कुल 121 सीटों पर 64.69 फीसदी मतदान हुआ, जो 2020 के चुनाव के मुकाबले 8 फीसदी अधिक है। चुनाव आयोग द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, 18 जिलों की इस सीटों पर हुई मतदान ने राज्य की राजनीति में हलचल मचा दी है। पहले चरण की वोटिंग को लेकर विभिन्न दलों ने अपने-अपने दावे किए हैं।
अखिलेश यादव का बड़ा दावा
समाजवादी पार्टी (SP) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने ट्वीट किया कि महागठबंधन की सरकार बन रही है और इस चुनाव में बदलाव के संकेत मिल रहे हैं। अखिलेश ने कहा, “यह इंडिया की एकजुटता और सकारात्मक राजनीति का नया दौर है।” उनके इस दावे के बाद, बिहार की राजनीति में एक नई दिशा देखने की संभावना जताई जा रही है।
तेजस्वी यादव का विश्वास
राजद (RJD) के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार तेजस्वी यादव ने वोटिंग के बाद बिहार की जनता का आभार व्यक्त किया और कहा कि भारी मतदान से यह संकेत मिलता है कि महागठबंधन की जीत अब तय हो चुकी है। उन्होंने यह भी कहा कि जनता ने महागठबंधन को अपनी समर्थन की मुहर लगा दी है।
बीजेपी का दावा
बीजेपी (BJP) के नेता और बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने दावा किया कि एनडीए लगभग 100 सीटें जीतने जा रहा है। सम्राट ने कहा, “हमारे गठबंधन का कुल आंकड़ा 2010 के चुनाव के रिकॉर्ड को पार करेगा, जो 206 सीटों का था।” बीजेपी अपने ‘सुशासन’ के एजेंडे को लेकर बिहार में फिर से जीत की उम्मीद लगाए हुए है।
चुनाव आधी सीटों पर हुआ है लेकिन फ़ैसला पूरा आ गया है, बिहार में महागठबंधन की सरकार बन रही है।
ये इंडिया की एकजुटता और सकारात्मक राजनीति का नया दौर है। pic.twitter.com/TsABuzwQ2H
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) November 7, 2025
जन सुराज का बयान
प्रशांत किशोर की पार्टी जन सुराज ने भी दावा किया कि यह भारी मतदान बदलाव की ओर इशारा कर रहा है। किशोर ने कहा कि बिहार में अब एक नई सरकार बनेगी और यह बदलाव की दिशा का संकेत है। उनका कहना है कि 14 नवंबर तक बिहार में सरकार बदल जाएगी।
कांग्रेस का आत्मविश्वास
कांग्रेस पार्टी के प्रवक्ता पवन खेड़ा ने भी चुनाव के पहले चरण में भारी मतदान को लेकर भरोसा जताया। उनका कहना था कि यह स्पष्ट बहुमत की ओर जाने का संकेत है। कांग्रेस का दावा है कि आगामी चुनाव में वे बिहार में प्रभावी भूमिका निभाएंगे।
2029 के लोकसभा चुनाव का साइड-इफेक्ट
बिहार विधानसभा चुनाव 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले देश के राजनीतिक माहौल का संकेत देने वाला माना जा रहा है। 20 वर्षों से सत्ता में रहे एनडीए के लिए यह चुनाव कठिन साबित हो सकता है, क्योंकि विपक्षी गठबंधन सत्ता विरोधी लहर और रोजगार जैसे मुद्दों को जोर-शोर से उठा रहा है।
अगला चरण
बिहार विधानसभा चुनाव का दूसरा और अंतिम चरण 11 नवंबर को होगा और वोटों की गिनती 14 नवंबर को की जाएगी। इस बार की वोटिंग में यदि उम्मीद से ज्यादा बदलाव आता है, तो वह बिहार के राजनीतिक परिदृश्य को नई दिशा दे सकता है।

