

बाराबंकी में शराब की दुकान के विरोध में ग्रामीणों ने प्रदर्शन किया। पूरी खबर के लिए पढ़ें डाइनामाइट न्यूज़ की ये रिपोर्ट
ग्रामीणों का प्रदर्शन (सोर्स- इंटरनेट)
बाराबंकी: बाराबंकी में आबादी के बीच शराब की दुकान खोलने को लेकर आज ग्रामीणों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन में शामिल महिला और पुरुषों ने मौके पर मौजूद शराब ठेके को हटाने की मांग की और ठेका किसी और जगह खोलने की मांग उठाई है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता को मिली जानकारी के मुताबिक महिलाओं की मांग है कि रिहायशी इलाके में शराब ठेका नहीं होना चाहिए क्योंकि वहां पर धार्मिक स्थान भी है और स्कूल भी मौजूद है। इन इलाकों में महिलाओं, औरतों और बच्चों का आना-जाना का लगा रहता है। जिसके चलते बुरा असर पड़ेगा इसलिए ठेका को यहां से हटाना चाहिए।
कई बार की शिकायत
पूरा मामला बाराबंकी के मसौली थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पंचायत रहरामऊ के चक गांव का है। जहां पर आबादी के बीचो-बीच शराब की दुकान होने पर वहां की महिलाओं और पुरुषों ने ठेके पर पहुंच कर जोरदार प्रदर्शन शुरू कर दिया। इस दौरान ग्रामीणों ने मांग पूरी न होने पर रोड को जाम कर दिया। बता दें कि शराब ठेका खोलने को लेकर पहले भी ग्रामीणों द्वारा शिकायतें की जा चुकी थी लेकिन ठेका वहां से नहीं हटा।
आबकारी विभाग को लिखा शिकायत पत्र
बता दें कि ग्रामीणों ने आबकारी विभाग में लिखित में शिकायत कर ठेका हटाने की मांग की थी। ग्रामीणों का कहना था कि आबादी क्षेत्र में ठेका होने से महिला और बच्चों पर बुरा असर पड़ सकता है। इस जगह पर स्कूल है धार्मिक स्थल है। वहां पर बुरा प्रभाव पड़ेगा और समाज में इसका गलत संदेश जाएगा। इसलिए ठेका को यहां से हटा दिया जाए।
आबकारी विभाग द्वारा जांच की गई लेकिन फिर भी ठेका नहीं हटाया गया। जिसके बाद आज सुबह जब शराब की दुकान का शटर खुलने वाला था। तब ग्रामीण महिला और पुरुष भारी संख्या में एकत्रित हो गए और शराब ठेका को हटाने की मांग को लेकर प्रदर्शन करने लगे।
ग्रामीणों ने किया सड़क जाम
बात बनती ना देख ग्रामीणों ने सड़क जाम कर दिया। मौके पर पहुंची मसौली पुलिस ने लोगों समझाने बुझाने का प्रयास किया है। फिलहाल ग्रामीण ठेका हटाने की मांग पर अड़े हुए हैं और इसके अलावा किसी बात पर समझौते को राजी नहीं है। महिलाओं का कहना है कि आबादी के बीच में शराब की दुकान होने के कारण हम लोगों को कई दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
महिलाओं ने आबादी के बीचो-बीच शराब की दुकान को हटाने की मांग की है। फिलहाल ठेका आवंटन के तहत शराब के ठेके की दुकान आवंटित हो चुकी है। अब देखने वाली बात यह होगी कि ग्रामीणों के विरोध के बाद आबकारी विभाग और प्रशासन दुकान हटवाता है या ग्रामीणों की मांग धरी की धरी रह जाएगी और शराब की दुकान वहीं पर खुली रहेगी।