

देश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज गोरखपुर के कूड़ाघाट स्थित गोरखा रेजीमेंट कैंपस में गोरखा युद्ध स्मारक के सौंदर्यीकरण कार्य और संग्रहालय के निर्माण का शिलान्यास किया। इस अवसर पर उन्होंने शहीद सैनिकों के परिजनों को प्रशस्ति पत्र और अंग वस्त्र प्रदान कर सम्मानित किया।
सीएम योगी ने शहीदों के परिजनों को किया सम्मानित
Gorakhpur: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज गोरखपुर के कूड़ाघाट स्थित गोरखा रेजीमेंट कैंपस में गोरखा युद्ध स्मारक के सौंदर्यीकरण कार्य और संग्रहालय के निर्माण का शिलान्यास किया। इस अवसर पर उन्होंने शहीद सैनिकों के परिजनों को प्रशस्ति पत्र और अंग वस्त्र प्रदान कर सम्मानित किया। कार्यक्रम में केंद्रीय राज्य मंत्री कमलेश पासवान, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) जनरल अनिल सिंह चौहान सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।
गोरखा युद्ध स्मारक गोरखा रेजीमेंट के शहीद सैनिकों की वीरता और बलिदान का प्रतीक है। इस स्मारक का सौंदर्यीकरण और संग्रहालय का निर्माण गोरखा सैनिकों की गौरवशाली परंपरा को संरक्षित करने और भावी पीढ़ियों को उनके बलिदान से प्रेरित करने के उद्देश्य से किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि गोरखा सैनिकों का देश की रक्षा में अतुलनीय योगदान रहा है। उन्होंने कहा, "यह स्मारक और संग्रहालय न केवल शहीदों के प्रति हमारी श्रद्धांजलि है, बल्कि युवाओं के लिए देशभक्ति और साहस का संदेश भी देगा।"
संग्रहालय में गोरखा रेजीमेंट के इतिहास, युद्धों में उनकी भूमिका, और शहीदों की वीरगाथाओं को प्रदर्शित किया जाएगा। यह संग्रहालय आधुनिक तकनीकों से लैस होगा, जिसमें डिजिटल प्रदर्शन, युद्ध स्मृति चिन्ह, और सैनिकों के जीवन से जुड़ी कहानियाँ शामिल होंगी। सौंदर्यीकरण कार्य के तहत स्मारक परिसर को और भव्य बनाया जाएगा, जिसमें हरियाली, सौंदर्यीकरण, और आगंतुकों के लिए बेहतर सुविधाएँ शामिल हैं।
कार्यक्रम में शहीदों के परिजनों को सम्मानित करते हुए मुख्यमंत्री ने उनके धैर्य और बलिदान की भावना की सराहना की। उन्होंने कहा कि शहीदों के परिवार देश के लिए प्रेरणा स्रोत हैं। केंद्रीय राज्य मंत्री कमलेश पासवान ने भी गोरखा सैनिकों की वीरता को याद करते हुए कहा कि यह स्मारक देश के गौरव का प्रतीक बनेगा। सीडीएस जनरल अनिल सिंह चौहान ने गोरखा रेजीमेंट की साहसिक परंपरा और देश सेवा में उनके योगदान की प्रशंसा की।
इस अवसर पर गोरखा रेजीमेंट के वरिष्ठ अधिकारी, सैनिक, और स्थानीय लोग भी मौजूद रहे। कार्यक्रम में उपस्थित लोगों ने शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की और स्मारक के सौंदर्यीकरण कार्य को ऐतिहासिक कदम बताया। यह परियोजना गोरखपुर को न केवल एक सैन्य गौरव स्थल के रूप में बल्कि पर्यटन और शिक्षा के क्षेत्र में भी नई पहचान देगी।