2800 करोड़ की ‘बाइक बोट’ ठगी: मायावती के करीबी समेत 3 गिरफ्तार, दो लाख से अधिक निवेशक बने शिकार

इस घोटाले का मास्टरमाइंड संजय भाटी उत्तर प्रदेश की राजनीति में सक्रिय रह चुका है। वह बहुजन समाज पार्टी (बसपा) का प्रमुख नेता रहा है।

Post Published By: Mayank Tawer
Updated : 3 July 2025, 1:32 PM IST
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Greater Noida News: ओला-उबर की तर्ज पर 'बाइक बोट' स्कीम के नाम पर देशभर में हजारों लोगों से करोड़ों की ठगी करने वाले अंतरराज्यीय गिरोह के सरगनाओं को रायपुर पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार किए गए आरोपियों में मुख्य सरगना संजय भाटी, करणपाल सिंह और राजेश भारद्वाज शामिल हैं। ये कार्रवाई 2019 में रायपुर के सिविल लाइन थाना में दर्ज धोखाधड़ी के मामले के तहत की गई।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक, आरोपियों ने वर्ष 2017 में मेसर्स गर्विट इनोवेटिव प्रमोटर्स लिमिटेड के नाम से 'बाइक बोट' योजना की शुरुआत की थी। इस स्कीम के तहत निवेशकों को 62,100 रुपये देकर एक बाइक खरीदवाने और फिर हर महीने कुल 9,765 रुपये मुनाफा देने का लालच दिया गया। कंपनी ने दावा किया था कि यह बाइक ओला-उबर की तरह किराए पर चलेगी, जिससे निवेशकों को निश्चित आय होगी। हालांकि, कुछ महीने तक निवेशकों को रिटर्न दिया गया। लेकिन इसके बाद कंपनी ने भुगतान बंद कर दिया और फरार हो गई। जब लोगों ने संपर्क करने की कोशिश की तो कंपनी के कार्यालय बंद मिले और फोन नंबर बंद हो चुके थे।

देशभर में फैला था नेटवर्क, 2 लाख से ज्यादा लोग बने शिकार

इस स्कीम के तहत देशभर के उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, मध्य प्रदेश, गुजरात, तेलंगाना, हरियाणा, महाराष्ट्र और आंध्र प्रदेश जैसे राज्यों में दो लाख से अधिक लोगों से कुल मिलाकर 2800 करोड़ रुपये की ठगी की गई। अकेले रायपुर में ही 32 से अधिक निवेशकों से लगभग 76 लाख रुपये की ठगी की गई।

संजय भाटी का राजनीतिक कनेक्शन

इस घोटाले का मास्टरमाइंड संजय भाटी उत्तर प्रदेश की राजनीति में सक्रिय रह चुका है। वह बहुजन समाज पार्टी (बसपा) का प्रमुख नेता रहा है। 2018 में कंपनी के डायरेक्टर पद से इस्तीफा देने के बाद उसने बसपा जॉइन की थी और 2019 में उसे गौतम बुद्ध नगर से पार्टी का लोकसभा प्रभारी बनाया गया था।

ईडी ने भी की कार्रवाई, संपत्तियां जब्त

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने भी मामले में संज्ञान लेते हुए आरोपियों की कई संपत्तियों को जब्त कर लिया है। मामला पहली बार अखिल कुमार बिसोई नामक रायपुर निवासी की शिकायत पर 2019 में सिविल लाइन थाना में दर्ज किया गया था।

पुलिस ने जेल से गिरफ्तार किया

रायपुर पुलिस ने साइबर सेल की मदद से आरोपियों का पता लगाया और पता चला कि तीनों आरोपी राजस्थान की भरतपुर और जयपुर जेल में बंद थे। इसके बाद कोर्ट से प्रोडक्शन वारंट जारी करवाकर उन्हें रायपुर लाया गया। वर्तमान में पुलिस ने तीनों को रिमांड पर लिया है और मामले की गहन जांच जारी है।

पुलिस का विशेष अभियान

आईजी अमरेश मिश्रा और एसएसपी लाल उमेद सिंह के निर्देश पर रायपुर पुलिस ने विशेष अभियान चलाया। सिविल लाइन थाना प्रभारी के नेतृत्व में टीम ने गौतम बुद्ध नगर जाकर आरोपियों को गिरफ्तार किया।

क्या कहा पीड़ित ने?

पीड़ित अखिल कुमार बिसोई ने बताया कि संजय भाटी ने उन्हें कंपनी का छत्तीसगढ़ प्रमुख (हेड) बनाने और फ्रेंचाइजी देने का झांसा दिया था। उसने स्कीम में निवेश कर बोट बाइक ली थी, जिसके लिए हर महीने 4590 रुपये किराया और 5175 रुपये लाभ देने का वादा किया गया था। लेकिन कुछ ही महीनों बाद भुगतान रुक गया और कंपनी ने संपर्क तोड़ दिया। फिलहाल पुलिस इस बड़े घोटाले की परतें खोलने में जुटी है और पीड़ितों को न्याय दिलाने का प्रयास किया जा रहा है। पुलिस का कहना है कि इस तरह की स्कीम में निवेश करने से पहले उसकी कानूनी वैधता और बैकग्राउंड की जांच जरूरी है।

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