वक्त को जिसने समझा, वो मंज़िल पा गया, केदारनाथ के घोड़ा चालक अतुल कुमार ने IIT मद्रास में बनाई जगह
अतुल कुमार, रुद्रप्रयाग के एक छोटे से गाँव में रहने वाला लड़का, रोज़ सुबह चार बजे उठकर अपने खच्चर को तैयार करता और यात्रियों को केदारनाथ मंदिर तक पहुंचाता था। दिनभर घोड़े की लगाम पकड़े वह उन तीर्थयात्रियों की सेवा करता, जिनके लिए केदारनाथ की यात्रा कठिन होती है।