बाबरी मस्जिद मामला: विशेष न्यायाधीश के कार्यकाल बढ़ा
उत्तर प्रदेश सरकार ने शुक्रवार को उच्चतम न्यायालय को बताया कि उसने उसके निर्देश का पालन किया और 1992 के बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में सुनवाई कर रहे विशेष न्यायाधीश का कार्यकाल बढ़ा दिया।
नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश सरकार ने शुक्रवार को उच्चतम न्यायालय को बताया कि उसने उसके निर्देश का पालन किया और 1992 के बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में सुनवाई कर रहे विशेष न्यायाधीश का कार्यकाल बढ़ा दिया।
1992 के इस बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में भाजपा के वरिष्ठ नेता एल के आडवाणी, एम एम जोशी तथा उमा भारती के खिलाफ भी सुनवाई हो रही है।
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न्यायमूर्ति आर एफ नरीमन और न्यायमूर्ति सूर्य कांत की पीठ ने उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव द्वारा उसके समक्ष पेश किए गए हलफनामे और ऑफिस मेमो पर विचार किया।
उत्तर प्रदेश की ओर से पेश हुई वरिष्ठ अधिवक्ता ऐश्वर्या भाटी ने पीठ को बताया कि उन्होंने शीर्ष न्यायालय के निर्देश का पालन किया और विशेष न्यायाधीश का कार्यकाल तब तक के लिए बढ़ा दिया जब तक वह अयोध्या बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में फैसला नहीं सुना देते।
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पीठ ने मामले का निपटारा करते हुए कहा, ‘‘हम संतुष्ट हैं कि आवश्यक कार्रवाई की गई।’(भाषा)