Spy Balloon: नई टेक्नोलॉजी ने बढ़ाई जासूसी गुब्बारों की ताकत, 200 सालों से दे रहा खुफिया जानकारी, जानिये इससे जुड़े रोचक तथ्य

डीएन ब्यूरो

अमेरिकी सेना ने हाल ही में अमेरिकी और कनाडाई हवाई क्षेत्र में प्रवेश करने वाली चार ऊंचाई पर उड़ती वस्तुओं को मार गिराया। अब उनके उद्देश्य और उन्हें किसने और कहां से उड़ाया इस बात को लेकर सवाल उठ रहे हैं। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर

जासूसी गुब्बारों का रहा है रोचक इतिहास (फाइल फोटो)
जासूसी गुब्बारों का रहा है रोचक इतिहास (फाइल फोटो)


लंदन: अमेरिकी सेना ने हाल ही में अमेरिकी और कनाडाई हवाई क्षेत्र में प्रवेश करने वाली चार ऊंचाई पर उड़ती वस्तुओं को मार गिराया। अब उनके उद्देश्य और उन्हें किसने और कहां से उड़ाया इस बात को लेकर सवाल उठ रहे हैं।

इन वस्तुओं में से पहला, एक चीनी गुब्बारा, चार फरवरी को एक लड़ाकू जेट द्वारा गिराया गया था। चीन का कहना है कि यह मौसम की निगरानी के लिए था, अमेरिकी अधिकारियों का कहना है कि इसका इस्तेमाल निगरानी के लिए किया जा रहा था। इस क्षेत्र में प्रौद्योगिकी का ज्ञान कुछ संकेत देता है कि क्या चल रहा होगा।

ऐसा माना जा रहा है कि गुब्बारे में सिग्नल इंटेलिजेंस संग्रह पेलोड लगा था, हालांकि इस बात की पुष्टि होना अभी बाकी है। इस गुब्बारे के मलबे को दक्षिण कैरोलिना के तट की तरफ वाले अमेरिकी जल क्षेत्र से निकाला गया है और विश्लेषण के लिए तट पर ले जाया जाएगा।

10 और 12 फरवरी के बीच अलास्का में डेडहोरसे, कनाडा में युकोन के पास और अमेरिका-कनाडा सीमा के करीब ह्यूरोन झील के ऊपर तीन अन्य वस्तुओं को गिराया गया।

सिग्नल इंटेलिजेंस, या ‘‘सिगंट’’, इलेक्ट्रॉनिक डेटा को संदर्भित करता है, जिसमें वार्तालाप, लिखित संदेश या हथियार या राडार सिस्टम से लिया गया डेटा शामिल हो सकता है। सिगंट आमतौर पर उपग्रहों द्वारा एकत्र किया जाता है, लेकिन अंतरराष्ट्रीय हवाई क्षेत्र में उड़ान भरने वाले विमानों से भी एकत्र किया जा सकता है।

आम तौर पर, सिगंट एकत्र करने वाले उपग्रह पृथ्वी की निचली कक्षा (एलईओ) में स्थित होते हैं - 500 से 1,000 किमी की ऊँचाई पर - या भू-स्थिर कक्षा में, 36,000 किमी की ऊँचाई पर। यद्यपि उपग्रहों द्वारा इस प्रकार की खुफिया जानकारी का संग्रह कुशल और यथोचित प्रभावी है, फिर भी कुछ सीमाएँ हैं।

एलईओ में एक उपग्रह 70 से 100 मिनट में पृथ्वी के चारों ओर एक कक्षा पूरी कर लेगा लेकिन यह अपनी ऊंचाई के आधार पर 14 से 20 घंटे के लिए फिर से पृथ्वी पर उसी बिंदु से नहीं गुजरेगा। ऐसा इसलिए है क्योंकि हमारा ग्रह भी गतिमान है। फिर भी, यह अधिकतम 20 मिनट के लिए पृथ्वी पर केवल एक बिंदु पर दिखाई देगा; जिसे इसका ‘‘टिकने का समय’’ कहा जाता है। उपग्रहों की संख्या बढ़ाने से मदद मिलती है, लेकिन कवरेज में अभी भी बड़ा समय अंतराल होता है।

सिद्धांत रूप में, एक भूस्थैतिक उपग्रह के पास टिकने का स्थायी समय हो सकता है। लेकिन, चूंकि यह पृथ्वी की सतह से लगभग 36,000 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है, यह महत्वपूर्ण लेकिन कमजोर संकेतों के संग्रह ये चूक सकता है।

अमेरिकी सेना संकेतों - इलेक्ट्रॉनिक डेटा प्रसारण - को विकसित कर रही है अवरोधन की कम संभावना के साथ। यह चीनी और रूसी दोनों देशों के जासूसी उपग्रहों के लिए सिंगट संग्रह को कठिन बना रहा है। 24 घंटे की अवधि में एक बड़ा समय अंतराल ऐसा होगा, जिसे साइलेंट टाइम कहते हैं, जब संग्रह संभव नहीं होगा।

चीन ने समय के इस अंतराल को बंद करने का प्रयास किया है। 2020 में, देश ने 600 किमी की कक्षा में, योगन -30 श्रृंखला के तीन नए टोही (जासूसी) उपग्रहों को एक व्यापक नेटवर्क, या ‘‘नक्षत्र’’, जिसे चुआंगक्सिन -5 (सीएक्स-5) कहा जाता है, के हिस्से के रूप में लॉन्च किया। जिससे नेटवर्क में उपग्रहों की संख्या 21 हो गई।

संचालन क्षमता

चलिए अब उस गुब्बारे की बात करते हैं जिसे चार फरवरी को मार गिराया गया था। अमेरिका के ऊपर इस वस्तु के मार्ग का पता लगाने से, यह देखा जा सकता है कि इसने अमेरिका के मोंटाना में परमाणु-सक्षम अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइलों (आईसीबीएमएस) के लिए साइलो सहित कई अति संवेदनशील रक्षा प्रतिष्ठानों को पार किया।

गुब्बारे ने पूरे अमेरिका में 20 से 30 किमी की ऊंचाई पर यात्रा की और उसमें ऊपरी वायुमंडल जेट स्ट्रीम में चलने की क्षमता थी। स्पष्ट रूप से, सिंगट संग्रह का लाभ यह था कि इसके रहने का समय कई घंटे होने की संभावना थी, और पृथ्वी की सतह से इसकी निकटता ने यह सुनिश्चित किया कि यह जासूसी कर सकता है, बहुत कमजोर संकेतों को एकत्र कर सकता है।

इस प्रकार, एक गुब्बारा जो पकड़ में आने से बचा रह सकता है, उपग्रहों और विमानों दोनों द्वारा संकेत के संग्रह को बढ़ाने के लिए एक आदर्श मंच होगा।

कई देश कम से कम 200 वर्षों से खुफिया जानकारी एकत्र करने के लिए गुब्बारों का उपयोग कर रहे हैं, इसलिए यह विचार नया नहीं है और इसके फायदे सर्वविदित हैं।

आज की प्रौद्योगिकियों ने खुफिया संग्रह की इस पद्धति को एक नया स्वरूप और नजर दी है, जैसा कि हमने छोटे हवाई वाहनों - या ‘‘सूक्ष्म ड्रोन’’ के उपयोग से भी देखा है। एक महत्वपूर्ण अवधि के लिए पकड़ में आने से बचे रहना सफलता के लिए एक महत्वपूर्ण आवश्यकता है। अमेरिका में यह कैसे संभव हुआ यह एक दिलचस्प सवाल है, यह देखते हुए कि देश में दुनिया के बाकी देशों से कहीं अच्छी वायु रक्षा प्रणाली है।

एक संभावित उत्तर भू-आधारित और हवाई प्रारंभिक चेतावनी प्रणाली (एईडब्ल्यू) राडार के डिजाइन में निहित है। राडार पर अव्यवस्था को कम करने के लिए, ‘‘डॉपलर शिफ्ट’’ के रूप में पहचाने जाने वाले प्राकृतिक प्रभाव का उपयोग करके राडार रिटर्न से स्थिर वस्तुओं जैसे पहाड़ों और टावरों को हटा दिया जाता है। जब कोई ट्रेन आपके पास से गुज़रती है, तो जैसे-जैसे वह आपसे दूर जाती है, उसकी सीटी की पिच बदलती हुई प्रतीत होती है। यह ध्वनि तरंगों में डॉप्लर बदलाव का दैनिक प्रदर्शन है।

डॉप्लर क्षमता सभी रक्षा राडारों के लिए आम है क्योंकि वे एक विमान और मिसाइल खतरे पर केंद्रित हैं। एक गुब्बारा या तैरने वाली वस्तु, डॉपलर की पकड़ में आ सकने वाली वस्तु की तुलना में धीमी गति से यात्रा कर सकती है और इस तरह से इसका पता नहीं चल पाता है।

राडार अव्यवस्था

पता लगाने की क्षमता में इस कमी को एनओआरएडी (नॉर्थ अमेरिकन एयर डिफेंस कमांड) द्वारा पहचाना गया था और बहुत कम वेग वाली वस्तुओं को देखने के लिए राडार को रीसेट कर दिया गया था। हालाँकि, इससे अव्यवस्था बढ़ेगी और यह शायद वायु रक्षा राडार प्रणाली की प्रभावशीलता को कम करने के चीन के उद्देश्यों में से एक को पूरा करता है।

पता लगाने में एक और कठिनाई गुब्बारों या वस्तुओं के लिए उपयोग की जाने वाली सामग्री है। प्लास्टिक और सिंथेटिक इन्फ्लेशन कपड़ों में राडार परावर्तकता नहीं होती है या बहुत कम होती है। अमेरिका में मौजूदा विवाद को शुरू करने वाले गुब्बारे के नजर आने के बाद इसके होने का पता चला। इसका वायु रक्षा प्रणालियों द्वारा पता नहीं लगाया गया था।

लेकिन कनाडा और अलास्का में हाल की खोजों के परिणामस्वरूप उच्च-तीव्रता वाली निगरानी हुई। ये क्या हैं अभी इसका खुलासा नहीं हुआ है। एक बार यह सुनिश्चित हो जाने के बाद, महत्वपूर्ण सवाल यह होगा कि क्या वस्तुओं को बेहतर सिग्नल इंटेलिजेंस इकट्ठा करने के लिए अमेरिकी रक्षा प्रणाली में घुसने के लिए डिज़ाइन किया गया था, या क्या वे अमेरिकी वायु रक्षा प्रणालियों के लिए परीक्षण थे।

वैकल्पिक रूप से, यह सिर्फ एक शैतानी चाल भी हो सकती है। जिसका हमें तब पता चलेगा जब गुब्बारे के मलबे के विश्लेषण के परिणाम सामने आएंगे।










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