हरियाली तीज व्रत से महिलाओं को मिलता है अखंड सुहाग का वरदान

हरियाली तीज के पर्व को लेकर ऐसी मान्यता है कि इस दिन माता पार्वती ने भगवान शिव को पाने के लिए कठोर तपस्या की थी और भगवान शिव ने हरियाली तीज के दिन ही पार्वती को पत्नी के रूप में स्वीकार किया था।

Updated : 26 July 2017, 2:31 PM IST
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नई दिल्ली: आज देशभर में हरियाली तीज का उत्सव धूमधाम से मनाया जा रहा है। सावन के महीने का यह प्रमुख त्योहार है, जो कि प्रेम और उल्लास के लिए जाना जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि हरियाली तीज क्यों मनाया जाता है? हरियाली तीज का व्रत करने से स्त्रियों को अखण्ड सुहाग और चिर सौभाग्य की प्राप्ति होती है।

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हरियाली तीज के दिन सुहागन स्त्रियां हरे रंग का ऋृंगार करती हैं और मेंहदी जरूर लगाती है। ऐसा माना जाता है कि सावन में काम की भावना बढ़ जाती है, मेंहदी इस भावना को नियंत्रित करती है। हरियाली तीज का नियम है कि इस दिन क्रोध को पूरी तरह नियंत्रित करना चाहिये। मेंहदी का औषधीय गुण सभी तरह के विकारों को नियंत्रित करने में महिलाओं की मदद करता है।

डिंपल यादव ने दी बधाई

हरियाली तीज के मौके पर सांसद डिंपल यादव ने ट्विट कर महिलाओं को बधाई दी है।

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इस पर्व को लेकर ऐसी मान्यता है कि माता पार्वती ने भगवान शिव को पाने के लिए कठोर तपस्या की थी। उनकी तपस्या से प्रसन्न होकर भगवान शिव ने हरियाली तीज के दिन ही पार्वती को पत्नी के रूप में स्वीकार किया था। इस त्योहार के नाम के अनुरूप ही हरी चूड़ियां, हरे कपड़े और मेंहदी का विशेष महत्व होता है।

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