झारखंड में कांग्रेस की 'जय भारत सत्याग्रह यात्रा' संपन्न

डीएन ब्यूरो

कांग्रेस की झारखंड इकाई की राज्यव्यापी 'जय भारत सत्याग्रह यात्रा' रविवार को रांची में संपन्न हुई।

कांग्रेस की 'जय भारत सत्याग्रह यात्रा' संपन्न
कांग्रेस की 'जय भारत सत्याग्रह यात्रा' संपन्न


रांची: कांग्रेस की झारखंड इकाई की राज्यव्यापी 'जय भारत सत्याग्रह यात्रा' रविवार को रांची में संपन्न हुई।

कांग्रेस ने इस यात्रा के जरिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार की ‘गलत नीतियों’ को उजागर करने तथा 2024 में इसे उखाड़ फेंकने का संकल्प लिया है।

कांग्रेस ने कहा कि चार अप्रैल से शुरू हुई 13 दिवसीय इस यात्रा का उद्देश्य देश में मौजूदा राजनीतिक स्थिति के बारे में लोगों में जागरूकता पैदा करना है।

कांग्रेस की झारखंड इकाई के प्रभारी अविनाश पांडे ने कहा, ‘‘ हमने लगभग 2,000 किलोमीटर की दूरी तय करने के लक्ष्य के साथ पदयात्रा शुरू की थी। लेकिन, हमने इसे 3,700 किलोमीटर की दूरी तय करके आज समाप्त कर दिया।’’

इस यात्रा में राज्य के सभी 24 जिलों के 30,000 से अधिक कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं ने भाग लिया।

अविनाश पांडे ने रांची के पुराना विधानसभा मैदान में एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि देश के लोग सुरक्षित महसूस नहीं कर रहे हैं, क्योंकि केंद्र सरकार ‘तानाशाही’ चला रही है।

कांग्रेस नेता ने दावा किया, ‘‘ नोटबंदी के नाम पर केंद्र सरकार ने लोगों को अपना पैसा बैंकों में जमा करने के लिए मजबूर किया और बाद में वही पैसा पूंजीपतियों को कर्ज के रूप में दे दिया गया। कई पूंजीपति देश या विदेश में कोई उद्योग स्थापित किए बिना लोगों की गाढ़ी कमाई लेकर भाग गए।’’

पांडे ने आरोप लगाया कि भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी की आवाज को दबाने की साजिश रची क्योंकि वह महंगाई, नौकरी के अवसरों की कमी और सरकारी प्रतिष्ठानों के निजीकरण जैसे मुद्दों पर आम जनता की आवाज उठाते रहे हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘ हमें केंद्र की इस अलोकतांत्रिक सरकार के बारे में लोगों को जागरूक करना है और 2024 के चुनाव में इसे उखाड़ फेंकना है। ’’

कांग्रेस की प्रदेश इकाई के अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने दावा किया कि देश मुश्किल दौर से गुजर रहा है, नफरत का माहौल बनाने की कोशिश की जा रही है।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और झारखंड सरकार में मंत्री आलमगीर आलम ने आरोप लगाया कि भाजपा के शासन में देश में लोकतंत्र कमजोर हो गया है।










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