Bihar Flood: बाढ़ से बेहाल बिहार के 12 जिलों में भीषण संकट, कई गांव डूबे, लाखों लोगों का जीवन खतरें में

बिहार में बाढ का प्रकोप लगातार बढता जा रहा है। राज्य की लाखों आबादी इस भीषण त्रासदी से जूझ रही है। कई लोग डूब की चपेट में आ गये हैं। पूरी खबर..

Updated : 26 July 2020, 10:59 AM IST
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पटना/नई दिल्ली: बाढ के भीषण संकट से जूझ रहे बिहार की आफतें कम होने का नाम नहीं ले रही है। राज्य के 12 जिलों के लोग भीषण बाढ़ का सामना कर रहे हैं। राज्य में अब तक कई गांवों बाढ़ से घिरे और डूबे होने की खबरें सामने आ चुकी है, जिस कारण लाखों लोगों का जीवन अभूतपूर्व संकट में फंस गया है।

राज्य में नदियों के जलस्तर में उतार-चढ़ाव और तटबंधों के टूटने का सिलसिला जारी है। जिसके चलते हर रोज नये गांव बाढ़ की चपेट में आ रहे हैं और लोगों का जीवन खतरे में पड़ता जा रहा है। बिहार में समस्तीपुर जिले के कई गांव उफनती बागमती नदी की चपेट में हैं। लोग जीवन को बचान के लिये अपनी तरफ से हर संभव कोशिशों में जुटे हैं लेकिन इस बड़े संकट के सामने हर प्रयास छोटा साबित हो रहा है।

खतरे के निशान से ऊपर बह रही कुछ नदियां

राज्य में बागमती, बूढ़ी गंडक, कमलाबलान, लालबकैया, अधवारा, खिरोई, महानंदा और घाघरा नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। नदियों का यह जल प्रलय बड़े भूभाग को अपनी चपेट में लेता जा रहा है। नदियों के लगातार बढते जलस्तर से कुछ ही दिनों में सैकड़ों नये गांव बाढ़ के पानी से घिर गये हैं।

तटबंधों के टूटने का सिलसिला जारी

इसके अलावा गोपालगंज में डुमरिया पुल के पास तटबंध टूटने से बड़े इलाके में बाढ़ का पानी भर गया है। गोपालगंज जिले में गंडक में बाढ़ से शनिवार को और तीन जगह, बैकुंठपुर के सोनवलिया, मडवा तथा मूंजा के समीप भी सारण तटबंध टूट गया। 

इन जिलों में सबसे ज्यादा संकट

बिहार के बाढ़ से सबसे ज्यादा प्रभावित जिलों में पश्चिमी चंपारण, पूर्वी चंपारण, मुजफ्फरपुर, गोपालगंज,  सीतामढ़ी, शिवहर, सुपौल, किशनगंज, दरभंगा, और खगड़िया शामिल हैं। इन जिलों के लोगों के सामने सबसे ज्यादा संकट दिखाई दे रहा है। यहां के सैकड़ों गांव अब तक पूरी तरह पानी से घिर चुके हैं।

बाढ से हारता जीवन 

बिहार में आई बाढ अब यहां के लोगों के जीवन पर भारी पड़ने लगी है और लोगों द्वारा बाढ़ से हारने की खबरे सामने आने लगी है। पूर्वी चंपारण में चार, गोपालगंज, लखीसराय और सीतामढ़ी में दो-दो, सहरसा, मधेपुरा, पश्चिम चंपारण, शिवहर और कटिहार में एक-एक लोगों की डूबने से मौत हो गई। जबकि शिवहर में घर की दीवार गिरने से एक महिला की भी जान चली गई। इसके अलावा कई लोग अलग-अलग तरह के संकटों से जूझ रहे हैं। 

राहत कार्यों में तेजी

लोगों को प्रशासन द्वारा राहत कैंपों और सुरक्षित जगहों पर ले जाया जा रहा है, लेकिन बाढ का प्रकोप इतना बड़ा और व्यापक है कि सभी तक राहत कार्य नहीं पहुंच पा रहे हैं। एनडीआरएफ समेत प्रशासन द्वारा राहत और बचाव कार्यों में तेजी लाये जाने के प्रयास जारी है।