बड़ी खबर: निचलौल तहसील के पोखरे मामले में भारी फर्जीवाड़ा, राजस्व अभिलेखागार के पांच कर्मचारियों के फ्राड पर डीएम ने गिरायी गाज
आम तौर पर जनपद मुख्यालय के कलेक्ट्रेट स्थित राजस्व अभिलेखागार में यह बात प्रचलित है कि रामआसरे चौरसिया नाम का कर्मचारी जबरदस्त डकैत है और अधिकांश फाइल जो इसके सामने से गुजरी है, उसमें इसने जबरदस्त भ्रष्टाचार करते हुए गैरकानूनी ढ़ंग से मालिकों के नाम तक बदल दिये हैं। ऐसे ही एक मामले की जांच जब डीएम ने करायी तो बड़े फर्जीवाड़े के रैकेट का पर्दाफाश हुआ। डाइनामाइट न्यूज़ एक्सक्लूसिव:
महराजगंज: जिलाधिकारी डा. उज्ज्वल कुमार इन दिनों भ्रष्टाचारियों पर कहर बनकर टूट रहे हैं। निचलौल तहसील के खमौरा गाँव के एक पोखरे की जमीन को कलेक्ट्रेट स्थित राजस्व अभिलेखागार के कर्मचारियों ने भारी फ्राड कर दूसरे व्यक्ति के नाम से कर डाला।
जब इसकी शिकायत डीएम के पास पहुंची तो उन्होंने इसकी जांच का जिम्मा अपर उप जिलाधिकारी अविनाश कुमार को सौंपा। अविनाश कुमार की रिपोर्ट जब सामने आयी तो हैरान करने वाला नजारा सामने दिखा।
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जिला राजस्व अभिलेखागार के कुख्यात डकैत रामआसरे चौरसिया ने अपने सहयोगियों के साथ मिल भयानक फर्जीवाड़ा किया। जिलाधिकारी ने रामआसरे चौरसिया व इनके साथी लिपिक अविनाश चतुर्वेदी, नन्दिता ठाकुर, सूर्यभान मौर्य, मालती श्रीवास्तव पर कड़ी कार्यवाही करते हुए नियुक्ति के वक्त के बीस साल पुराने मूल वेतनमान पर भेज दिया।
अपर उप जिलाधिकारी अविनाश कुमार की जांच रिपोर्ट पर हुई इस सख्त कार्यवाही के बाद भ्रष्ट किस्म के दागी कर्मचारियों में हड़कंप मच गया है।
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