

बैंकिंग क्षेत्र पर साइबर सुरक्षा के जोखिम को देखते हुए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के कार्यकारी निदेशक रोहित जैन ने सोमवार को कहा कि बैंकों और वित्तीय संस्थानों को बैंकिंग सुरक्षा ढांचे को पर्याप्त संसाधन देने चाहिए। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर
बेंगलुरु: बैंकिंग क्षेत्र पर साइबर सुरक्षा के जोखिम को देखते हुए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के कार्यकारी निदेशक रोहित जैन ने सोमवार को कहा कि बैंकों और वित्तीय संस्थानों को बैंकिंग सुरक्षा ढांचे को पर्याप्त संसाधन देने चाहिए।
उन्होंने बैंकिंग में क्लाउड कम्प्यूटिंग और इंटरनेट ऑफ थिंग्स (आईओटी) के पदार्पण के संभावित प्रभावों के लिए तैयार रहने की जरूरत पर भी जोर दिया।
आरबीआई के वरिष्ठ अधिकारी यहां बेंगलुरु में जी-20 वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंकों के गवर्नरों (एफएमसीबीजी) की पहली बैठक से पहले साइबर सुरक्षा पर एक पैनल चर्चा में भाग लेने रहे थे। जी-20 एफएमसीबीजी की बैठक 22 से 25 फरवरी तक होगी।
उन्होंने कहा कि सुरक्षा को बैंकिंग प्रक्रियाओं के हिस्से के रूप में जोड़ने की जरूरत है, और सुरक्षा नियंत्रण का कार्यान्वयन किया जाना चाहिए।
जैन ने कहा, “उभरते परिदृश्य और इसके जोखिमों को देखते हुए, सूचना सुरक्षा तंत्र को पर्याप्त रूप से संसाधन संपन्न होना चाहिए। इसमें उसके कर्मियों की संख्या, विशेषज्ञता का स्तर, उपकरणों और तकनीकों के उपयोग के साथ-साथ आईटी व आईटीईएस में पर्याप्त निवेश शामिल हैं।”
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