सेना प्रमुख ने आईएमए स्नातकों को बदलते समय के साथ युद्ध के लिए तैयार रहने की सलाह दी

डीएन ब्यूरो

थलसेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे ने शनिवार को आईएमए स्नातकों से कहा कि वे युद्ध के तेजी से बदलते स्वरूप से उत्पन्न चुनौतियों से निपटने के लिए अपने कौशल को अद्यतन करते रहें। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर

थलसेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे
थलसेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे


देहरादून: थलसेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे ने शनिवार को आईएमए स्नातकों से कहा कि वे युद्ध के तेजी से बदलते स्वरूप से उत्पन्न चुनौतियों से निपटने के लिए अपने कौशल को अद्यतन करते रहें।

भारतीय सैन्य अकादमी (आईएमए) में ‘पासिंग आउट परेड’ को संबोधित करते हुए जनरल पांडे ने कहा, 'प्रौद्योगिकी के तेज विकास के कारण युद्ध की गतिशीलता तेजी से बदल रही है और युद्ध लड़ना अधिक जटिल हो गया है। ऐसे परिदृश्य में, तकनीकी कौशल, मानसिक चपलता, महत्वपूर्ण मुद्दों पर सोचना और त्वरित प्रतिक्रिया सफलता की कुंजी होगी।”

उन्होंने नए अधिकारियों से कहा कि वे अपनी योग्यता को लगातार बेहतर बनाते रहें।

यह भी पढ़ें | तुर्किये को मानवीय सहायता व राहत प्रदान करने के लिए हमें अपने चिकित्सा दल पर गर्व है: थलसेना प्रमुख

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार सेना प्रमुख ने कहा, 'आपकी यात्रा सेना में शामिल होने के साथ समाप्त नहीं होती है। इसके विपरीत, यह आत्म-सुधार के प्रति प्रतिबद्धता की शुरुआत है।'

जनरल पांडे ने कहा, ‘‘सैनिक का पेशा सभी पेशों में सबसे अच्छा है क्योंकि यह वर्दी पहनने और निःस्वार्थ भक्ति के साथ अपनी मातृभूमि की सेवा करने का अवसर देता है।’’

पासिंग आउट परेड के दौरान 373 कैडेट को सेना में शामिल किया गया। इनमें से मित्र देशों के 42 कैडेट अपने-अपने देशों की सेनाओं में शामिल हुए।

यह भी पढ़ें | सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे ने दो मोर्चों पर युद्ध की स्थिति को टालने के लिए कही ये बातें

उत्तर प्रदेश से सबसे अधिक 63 कैडेट सेना में शामिल हुए जबकि बिहार से 33, हरियाणा के 32, उत्तराखंड के 25 और पंजाब के 23 कैडेट सेना में शामिल हुए।










संबंधित समाचार