विवाद के बीच बंगाल के राज्यपाल ने विश्वविद्यालयों में शिक्षकों के पद भरने की पहल की

डीएन ब्यूरो

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ राज्य संचालित विश्वविद्यालयों के कुलपतियों की नियुक्ति को लेकर विवाद के बीच मंगलवार को राजभवन ने विभिन्न विश्वविद्यालयों में रिक्त पदों पर शिक्षकों के चयन के लिए खोज समितियों के गठन की घोषणा की।पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी


कोलकाता:पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ राज्य संचालित विश्वविद्यालयों के कुलपतियों की नियुक्ति को लेकर विवाद के बीच मंगलवार को राजभवन ने विभिन्न विश्वविद्यालयों में रिक्त पदों पर शिक्षकों के चयन के लिए खोज समितियों के गठन की घोषणा की।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक राज्य संचालित विश्वविद्यालयों के कुलाधिपति के रूप में राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने एक ‘स्पीड’ (आसान और प्रभावी निर्णय लेने के लिए सरलीकृत प्रक्रिया) कार्यक्रम की घोषणा की और उनके कार्यालय ने कहा कि पहल के तौर 25 शिक्षक चयन समितियों का गठन किया जा रहा है।

इस संबंध में एक अधिकारी ने कहा, ‘‘इस कदम से कुलाधिपति का मकसद यह सुनिश्चित करना है कि उच्च शिक्षण संस्थानों में शिक्षकों की कमी के कारण शिक्षा की गुणवत्ता प्रभावित न हो।’’

इस कदम से बोस और मुख्यमंत्री के बीच चल रहा वाकयुद्ध बढ़ने की संभावना है। ममता बनर्जी इस समय राज्य में निवेशकों को लुभाने के लिए दुबई और स्पेन की यात्रा पर हैं।

इस फैसले पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए नॉर्थ बंगाल विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति और एजुकेशनिस्ट फोरम के प्रवक्ता ओमप्रकाश मिश्रा ने कहा कि वह आश्वस्त नहीं हैं कि राज्यपाल इस तरह से विश्वविद्यालयों में शिक्षकों के पदों को भरने की निगरानी के लिए समिति बना सकते हैं या नहीं।

उन्होंने कहा, ‘‘इसकी कोई कानूनी वैधता नहीं है। यदि वह ऐसा करते हैं, तो यह उच्च शिक्षा विभाग और अधिनियमों तथा विश्वविद्यालय विधियों के प्रत्येक प्रावधान को दरकिनार करने का उनका एक और कदम माना जाएगा।’’

मिश्रा ने दावा किया कि राज्यपाल ने पहले खुद को उन विश्वविद्यालयों का कुलपति घोषित किया था जहां कुलपति का पद खाली है और फिर अपने बयान से पलट गए थे।

 










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