दिल्ली-NCR में कार चलाने वालों! ध्यान से पढ़ लो ये खबर, नहीं तो देना पड़ेगा 7 लाख का जुर्माना

दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को लेकर सरकार ने सख्त फैसला लिया है। 18 दिसंबर से बिना PUCC सर्टिफिकेट वाले वाहनों को पेट्रोल नहीं मिलेगा और भारी चालान भी कटेगा। पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने प्रदूषण नियंत्रण को लेकर सरकार के कदमों की जानकारी दी।

Post Published By: ईशा त्यागी
Updated : 16 December 2025, 3:51 PM IST

New Delhi: देश की राजधानी दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण ने एक बार फिर गंभीर चिंता खड़ी कर दी है। लगातार खराब होती हवा की गुणवत्ता को देखते हुए दिल्ली सरकार ने सख्त कदम उठाने का ऐलान किया है। दिल्ली सरकार ने साफ किया है कि गुरुवार, 18 दिसंबर से जिन वाहनों के पास प्रदूषण नियंत्रण प्रमाणपत्र (PUCC) नहीं होगा, उन्हें पेट्रोल नहीं दिया जाएगा। यानी अब दिल्ली में गाड़ी में ईंधन भरवाने के लिए PUCC सर्टिफिकेट अनिवार्य कर दिया गया है।

इसके साथ ही सरकार ने यह भी चेतावनी दी है कि जिन वाहनों के पास PUCC सर्टिफिकेट नहीं होगा, उन पर 7 लाख रुपये से अधिक का चालान भी काटा जा सकता है। सरकार का मानना है कि इस फैसले से प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों पर लगाम लगेगी और हवा की गुणवत्ता में सुधार होगा।

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दिल्ली के पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने इस फैसले की जानकारी देते हुए कहा कि दिल्ली में फिलहाल प्रदूषण की स्थिति “फेयर स्टेज” पर है। उन्होंने बताया कि पिछले 10 वर्षों से दिल्ली इसी स्तर पर बनी हुई है। मंत्री के अनुसार, पिछले साल AQI 380 था, जबकि इस समय यह घटकर 363 तक आ गया है। उन्होंने कहा कि प्रदूषण की समस्या उन्हीं लोगों की देन है, जो अब विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।

कूड़े के पहाड़ कम करने का दावा

पर्यावरण मंत्री ने कहा कि दिल्ली सरकार ने बीते समय में लगातार ठोस प्रयास किए हैं। उन्होंने दावा किया कि दिल्ली में मौजूद कूड़े के पहाड़ों की ऊंचाई को 15 मीटर तक कम किया गया है। इसके साथ ही 202 एकड़ क्षेत्र में फैले कचरे में से 45 एकड़ जमीन को पूरी तरह साफ किया जा चुका है। उन्होंने कहा कि ये काम वर्षों से लंबित थे, जिन्हें मौजूदा सरकार ने गंभीरता से आगे बढ़ाया।

इंडस्ट्रियल एरिया और जनरेटर पर कार्रवाई

मनजिंदर सिंह सिरसा ने बताया कि दिल्ली के औद्योगिक क्षेत्रों में जो इकाइयां नियमों का पालन नहीं कर रही थीं, उन्हें सरकार के दायरे में लाया गया है। DPCC (दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति) ने अब तक 2,000 से ज्यादा नोटिस जारी किए हैं, जिनकी कुल राशि 9 करोड़ रुपये से अधिक है। इसके अलावा प्रदूषण कम करने के लिए बायोगैस को नियंत्रित करने हेतु 10,000 हीटर वितरित किए गए हैं। वहीं, डीजल जनरेटर के खिलाफ भी सख्त अभियान चलाया गया है। अब तक 3,200 डीजल जनरेटरों पर कार्रवाई की जा चुकी है।

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EV बसें और साइंटिस्ट टीम

पर्यावरण मंत्री ने कहा कि पिछले साल की तुलना में नवंबर महीने में AQI में करीब 20 अंकों की कमी दर्ज की गई है। दिल्ली में सार्वजनिक परिवहन को मजबूत करने के लिए 5,300 में से 3,427 इलेक्ट्रिक बसें सड़कों पर उतारी जा चुकी हैं। इसके साथ ही सरकार ने वैज्ञानिकों की एक विशेष टीम का गठन किया है, जिसने 12 दिसंबर को अपनी पहली बैठक कर ली है। यह टीम प्रदूषण के कारणों और उनके स्थायी समाधान पर काम करेगी।

ट्रकों और पुराने वाहनों पर सख्ती

सरकार ने यह भी साफ किया है कि दिल्ली में कंस्ट्रक्शन का सामान लेकर आने वाले ट्रकों को सील किया जाएगा। वहीं, BS-6 मानक से कम वाले किसी भी वाहन को दिल्ली में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी। यह नियम निजी वाहनों और गैर-दिल्ली रजिस्टर्ड वाहनों पर भी लागू होगा। सरकार का कहना है कि ये सख्त कदम दिल्ली की हवा को साफ करने की दिशा में निर्णायक साबित होंगे।

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  • New Delhi

Published : 
  • 16 December 2025, 3:51 PM IST