

अमेरिकी सरकार ने द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) को विदेशी आतंकवादी संगठन घोषित किया है। इस संगठन ने 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले की जिम्मेदारी ली थी, जिसमें 26 पर्यटकों की जान गई थी। TRF लश्कर-ए-तैयबा का मुखौटा संगठन है और भारत में आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देता है।
डोनाल्ड ट्रंप (सोर्स-गूगल)
New Delhi: अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने हाल ही में द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) को 'विदेशी आतंकवादी संगठन' घोषित किया है। यह संगठन कश्मीर में पाकिस्तान द्वारा समर्थित आतंकवादियों की गतिविधियों का संचालन करता है। TRF का संबंध सीधे तौर पर लश्कर-ए-तैयबा (LeT) से है, जो एक पाकिस्तानी आतंकवादी समूह है और संयुक्त राष्ट्र द्वारा आतंकवादी संगठन के रूप में सूचीबद्ध है।
यह घोषणा अमेरिकी सरकार द्वारा कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल 2025 को हुए एक आतंकवादी हमले के बाद की गई, जिसमें 26 पर्यटक मारे गए थे। इस हमले की जिम्मेदारी TRF ने ली थी, जिसने भारतीय सुरक्षा बलों और नागरिकों पर हमले किए हैं। इस हमले ने भारत और दुनिया भर में आतंकवाद के खिलाफ एकजुटता का माहौल बनाया।
कश्मीर में आतंकवादियों का खतरा
रुबियो ने बयान में कहा कि TRF को आतंकवादी संगठन घोषित करना अमेरिका के राष्ट्रीय सुरक्षा हितों की रक्षा करने और आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक प्रयासों में साझेदारी को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने यह भी कहा कि यह कदम ट्रंप प्रशासन के उस संकल्प को दर्शाता है, जिसमें पहलगाम हमले के दोषियों के खिलाफ न्याय सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता व्यक्त की गई है।
TRF के सदस्य कई बार भारतीय सुरक्षा बलों पर हमले कर चुके हैं, जिनमें कई सुरक्षाकर्मी शहीद हुए हैं। इस आतंकी संगठन का मुख्य उद्देश्य कश्मीर में आतंकवाद फैलाना और वहां के स्थानीय नागरिकों में भय और अस्थिरता पैदा करना है।
पहलगाम हमला (सोर्स-गूगल)
अमेरिका का भारत के साथ समर्थन
इस हमले के बाद, अमेरिका ने भारत के साथ एकजुटता व्यक्त की थी। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को फोन कर मृतकों के प्रति संवेदना व्यक्त की थी और यह सुनिश्चित किया था कि अमेरिका आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में भारत के साथ खड़ा है। ट्रंप प्रशासन ने भारत को हर संभव सहायता देने की पेशकश की थी।
इसके बाद भारतीय सेना ने पाकिस्तान और उसके कब्जे वाले कश्मीर में आतंकवादियों के ठिकानों पर एयर स्ट्राइक की, जिसमें 100 से अधिक आतंकवादी मारे गए थे। इस एयर स्ट्राइक ने कश्मीर में आतंकवादियों के नेटवर्क को कमजोर किया और भारत की सुरक्षा व्यवस्था को एक बड़ा समर्थन मिला।
टीआरएफ पर कड़े प्रतिबंध
अमेरिकी विदेश विभाग के अनुसार TRF को विदेशी आतंकवादी संगठन घोषित करने के बाद, उसके सदस्यों पर कड़े वित्तीय और यात्रा प्रतिबंध लागू किए जाएंगे। इस कदम से आतंकवाद-रोधी वैश्विक प्रयासों में अमेरिका को सहयोग मिलेगा और अंतरराष्ट्रीय समुदाय का आतंकवाद के खिलाफ एकजुटता में योगदान बढ़ेगा।
TRF को आतंकी संगठन घोषित करने के बाद पाकिस्तान को बड़ा झटका
अमेरिकी सरकार ने द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) को एक विदेशी आतंकवादी संगठन (FTO) और विशेष रूप से नामित वैश्विक आतंकवादी (SDGT) घोषित किया है। यह संगठन पाकिस्तान से ऑपरेट होने वाले आतंकवादी समूह लश्कर-ए-तैयबा का मुखौटा है। TRF ने कई आतंकवादी घटनाओं को अंजाम दिया है, जिसमें 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले की जिम्मेदारी ली थी। इस हमले में 26 पर्यटक मारे गए थे, और यह हमला भारत में नागरिकों पर लश्कर-ए-तैयबा द्वारा किए गए सबसे घातक हमलों में से एक था।