

जुबीन गर्ग की मौत को लेकर उनके साथी शेखर ज्योति गोस्वामी ने आरोप लगाया है कि मैनेजर सिद्धार्थ और इवेंट ऑर्गनाइजर महंत ने उन्हें जहर देकर हत्या की साजिश रची। शेखर ने दावा किया कि उन्होंने स्कूबा डाइविंग हादसे का रूप देकर साजिश को छिपाया।
जुबीन गर्ग मामले में आया नया ट्विस्ट
Mumbai: सिंगर शेखर ज्योति गोस्वामी ने हाल में पुलिस बयान में दावा किया है कि जुबीन की मौत डूबने से नहीं हुई, बल्कि यह हत्या की योजना थी। उन्होंने आरोप लगाया कि मैनेजर सिद्धार्थ शर्मा और इवेंट ऑर्गनाइजर श्यामकनु महंत ने उन्हें जहर दिया था और बाद में इसे स्कूबा डाइविंग हादसे का रूप देने की साजिश रची थी।
शेखर ने बताया कि जब यह घटना हुई, वह और जुबीन दोनों सिंगापुर में ही थे। उन्होंने दावा किया कि शर्मा पैन पैसिफिक होटल में उनके साथ रह रहे थे और मृत्यु से पहले उनका व्यवहार अजीबोगरीब था। शेखर के अनुसार, शर्मा ने याट (नाव) के चालक को हटा कर स्वयं नियंत्रण ले लिया और नाव को समुद्र में खतरनाक ढंग से हिलाया। जुबीन को सांस लेने में तकलीफ हो रही थी, पर शर्मा ने कहा, “जाबो दे, जाबो दे (उसे जाने दो)”।
जुबीन गर्ग मामले में आया नया ट्विस्ट
गोस्वामी ने कहा कि शर्मा और महंत ने साजिश पूर्वक जहर दिया, ताकि उनका इरादा ड्राइवर या डाइविंग त्रुटि का रूप ले सके। वे यह भी कहते हैं कि शर्मा ने याट की वीडियो साझा नहीं करने का दबाव भी डाला। शेखर ने जोर देकर कहा कि जुबीन एक प्रशिक्षित तैराक थे, जिसने उन्हें और शर्मा को भी तैरना सिखाया था, इसलिए उनका ‘डूबना’ स्वाभाविक नहीं हो सकता।
Zubeen Garg death case: जुबीन गर्ग की मौत की जांच में नया मोड़, जानें अब क्या हुआ
इस मामले की गंभीरता को देखते हुए, असम सरकार ने न्यायिक आयोग का गठन किया है। इसकी अध्यक्षता गुवाहाटी हाईकोर्ट के न्यायाधीश सौमित्र सैकिया करेंगे। मुख्यमंत्री हेमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि जिनके पास वीडियो या जानकारी है, वे सामने आएँ। साथ ही, ED और IT विभाग मिलकर श्यामकनु महंत की सम्पत्ति और आय स्रोतों की जाँच करेंगे।
एसआईटी ने अब तक 10 व्यक्तियों के खिलाफ 60 से अधिक FIR दर्ज की है। पुलिस ने बताया कि सिंगापुर में पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट प्रोटोकॉल के अनुसार परिवार को सौंप दी जाएगी। गुवाहाटी में द्वितीय पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट अब भी इंतजार में है। विसरा सैंपल (Viscera samples) को दिल्ली के सेंट्रल फोरेंसिक लैब भेजा गया है। इनमें आंत, लिवर, किडनी जैसे अंगों के नमूने शामिल हैं, जिनसे मौत का कारण स्पष्ट हो सकेगा।
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