Share Market: अमेरिकी फेड की ब्याज दर कटौती से भारतीय बाजार में उछाल, सेंसेक्स–निफ्टी हरे निशान पर

अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दरों में 0.25 प्रतिशत की कटौती का असर भारतीय शेयर बाजार पर दिख रहा है। गुरुवार को बाजार खुलते ही सेंसेक्स और निफ्टी में मजबूत तेजी देखी गई। विदेशी निवेशकों की वापसी और रुपये की मजबूती की उम्मीद से बाजार में सकारात्मक माहौल है।

Post Published By: Sapna Srivastava
Updated : 18 September 2025, 10:08 AM IST
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New Delhi: अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व (US Fed) ने बुधवार को ब्याज दरों में 0.25 प्रतिशत की कटौती की, जिसका सीधा असर गुरुवार को भारतीय घरेलू शेयर बाजार में देखने को मिला। हफ्ते के चौथे कारोबारी दिन बीएसई सेंसेक्स 328 अंकों की मजबूती के साथ 84,650 के स्तर पर पहुंच गया, जबकि एनएसई निफ्टी 50 ने भी 25,400 का स्तर पार कर लिया। शुरुआती कारोबार में बैंकिंग, आईटी और एफएमसीजी शेयरों में सबसे ज्यादा खरीदारी दर्ज की गई।

रुपये और विदेशी निवेशकों पर असर

बाजार विशेषज्ञों का कहना है कि फेड की ओर से ब्याज दरों में कटौती के बाद डॉलर इंडेक्स पर दबाव बढ़ेगा। इसके चलते भारतीय रुपये को मजबूती मिल सकती है। डॉलर के मुकाबले रुपये में स्थिरता आने से विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (FPI) का रुझान भारतीय बाजारों की ओर बढ़ सकता है। इससे आने वाले समय में विदेशी निवेश का प्रवाह तेज होने की संभावना जताई जा रही है।

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शेयर बाजार में जोरदार तेजी

बैंकों और आईटी कंपनियों को राहत

ब्याज दरों में नरमी से बैंकों के लिए कर्ज देना आसान हो सकता है, जिससे उनकी लोन बुक और मार्जिन पर सकारात्मक असर पड़ने की उम्मीद है। साथ ही अमेरिकी अर्थव्यवस्था को राहत मिलने से भारतीय आईटी सेक्टर के लिए भी नए कॉन्ट्रैक्ट्स मिलने की संभावनाएं बढ़ गई हैं। अमेरिका भारतीय आईटी कंपनियों का सबसे बड़ा बाजार है, ऐसे में उनकी आय पर इसका सीधा असर देखने को मिल सकता है।

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मांग और खपत में इजाफा

बाजार जानकारों का मानना है कि कर्ज सस्ता होने से आम उपभोक्ताओं और कंपनियों के बीच डिमांड में तेजी आ सकती है। इसका फायदा रियल एस्टेट, ऑटोमोबाइल और कंज्यूमर गुड्स सेक्टर को होगा। मांग में बढ़ोतरी से कंपनियों की बिक्री और मुनाफे पर सकारात्मक असर पड़ने की संभावना है।

लंबी अवधि के लिए तेजी का रुख

ब्रोकरेज हाउस और मार्केट एनालिस्ट्स का अनुमान है कि अगर अमेरिकी फेड इस साल के अंत तक दो और बार दरों में कटौती करता है, तो भारतीय बाजार में लंबी अवधि तक तेजी बनी रह सकती है। फिलहाल सेंसेक्स और निफ्टी दोनों में निवेशकों का भरोसा मजबूत दिखाई दे रहा है।

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निवेशकों को सतर्क रहने की सलाह

हालांकि, विशेषज्ञों का कहना है कि तेजी के इस माहौल में निवेशकों को संतुलित रणनीति अपनानी चाहिए। वैश्विक बाजारों में किसी भी तरह की अस्थिरता का असर भारतीय बाजार पर भी पड़ सकता है। इसलिए लंबी अवधि के निवेशकों को मजबूत कंपनियों और सुरक्षित सेक्टरों पर ध्यान देना चाहिए।

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