

गोरखपुर में पुलिस ने नशीले पदार्थों के अवैध व्यापार में लिप्त एक संगठित गिरोह के खिलाफ कड़ा कदम उठाया है। पुलिस ने गैंग के दो सदस्यों के कब्जे से 6.5 किलोग्राम अवैध अफीम बरामद की।
नशीले पदार्थों की तस्करी पर एक्शन Image (Internet)
Gorakhpur: जनपद की पुलिस ने नशीले पदार्थों के अवैध व्यापार में लिप्त एक संगठित गिरोह के खिलाफ कड़ा कदम उठाया है। पुलिस ने दो अपराधियों पर गैंगस्टर एक्ट के तहत कार्रवाई की है। पुलिस ने गैंग के सदस्यों के कब्जे से 6.5 किलोग्राम अवैध अफीम बरामद की।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, गोरखपुर राज करन नय्यर के निर्देश पर चलाए जा रहे अभियान के तहत कोतवाली पुलिस ने गैंग लीडर पवन सिंह और उनकी सहयोगी खुशबू कुमारी साव के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया। दोनों पर नशीले पदार्थों का अवैध व्यापार कर समाज में दहशत फैलाने और लोक व्यवस्था को भंग करने का आरोप है।
जानकारी के अनुसार पवन सिंह, पुत्र डूंगर सिंह, निवासी खगाईनागर, थाना बहेड़ी, जनपद बरेली और खुशबू कुमारी साव, पत्नी राजू साव, मूल निवासी नियामतपुर, वर्धमान, पश्चिम बंगाल (हाल पता: धूमपुर चौक, नरकटियागंज, बिहार) ने एक संगठित गिरोह बनाकर अवैध अफीम का व्यापार किया।
इस गिरोह ने सामूहिक रूप से समाज विरोधी गतिविधियों को अंजाम देकर जनता में भय और आतंक का माहौल पैदा किया।
पुलिस ने बताया कि इनके अपराधों ने आम जनमानस में दहशत फैलाई, जिससे इनके स्वतंत्र विचरण पर रोक लगाना आवश्यक हो गया था।
पुलिस अधीक्षक नगर और क्षेत्राधिकारी कोतवाली के मार्गदर्शन में कोतवाली पुलिस ने इस गिरोह के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई की। जांच के दौरान पुलिस ने गैंग के कब्जे से 6.5 किलोग्राम अवैध अफीम बरामद की, जिसके आधार पर थाना कोतवाली में मुकदमा संख्या 0113/2025, धारा 8/18 NDPS एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया।
इसके बाद, जिला मजिस्ट्रेट गोरखपुर के अनुमोदन से तैयार गैंग चार्ट के आधार पर पवन सिंह और खुशबू कुमारी के खिलाफ मुकदमा संख्या 180/25, धारा 2(ख)(ii) व (xi) 3(1) गैंगस्टर एक्ट 1986 के तहत दर्ज किया गया।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने बताया कि संगठित अपराधों पर अंकुश लगाने और समाज में शांति बनाए रखने के लिए पुलिस का यह अभियान निरंतर जारी रहेगा।
दोनों आरोपियों का आपराधिक इतिहास भी सामने आया है, जिसमें उनके खिलाफ NDPS एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज है।
पुलिस ने जनता से अपील की है कि नशीले पदार्थों के व्यापार या अन्य अपराधों की सूचना तुरंत पुलिस को दें, ताकि समाज को अपराधमुक्त बनाया जा सके।