

गोरखपुर में अवैध एम्बुलेंस सेवाओं के खिलाफ पुलिस ने सख्त कार्रवाई की। 2-3 सितंबर 2025 की रात बीआरडी मेडिकल कॉलेज और आसपास के क्षेत्रों में छापेमारी कर 5 एम्बुलेंस सीज की गईं। ये वाहन बिना अनुमति और मनमाना किराया वसूल रहे थे।
एम्बुलेंस सेवा
Gorakhpur: जिले में अवैध रूप से संचालित और मानक के विपरीत चल रही एम्बुलेंस सेवाओं के खिलाफ पुलिस ने सख्ती दिखाते हुए बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक गोरखपुर के निर्देश पर चलाए जा रहे विशेष अभियान के तहत 02/03 सितम्बर 2025 की मध्यरात्रि में गुलरिहा व शाहपुर थाने की पुलिस टीम ने बीआरडी मेडिकल कॉलेज व आसपास के क्षेत्रों में छापेमारी की। इस दौरान मानक के विरुद्ध संचालित हो रही कुल 05 एम्बुलेंस को पकड़कर सीज कर दिया गया।
जानकारी के अनुसार, एडीएम नगर व पुलिस अधीक्षक नगर के मार्गदर्शन और क्षेत्राधिकारी गोरखनाथ के पर्यवेक्षण में अभियान चलाया गया। पुलिस की टीम ने मेडिकल कॉलेज कैंपस व आसपास के क्षेत्रों में सक्रिय एम्बुलेंस वाहनों की जांच की। इस दौरान पाया गया कि कई वाहन बिना उचित अनुमति और नियमों के उल्लंघन करते हुए मरीजों से मनमाना किराया वसूलकर संचालन कर रहे थे। शिकायतों के आधार पर हुई इस कार्यवाही से अवैध एम्बुलेंस माफियाओं में हड़कंप मच गया है।
पुलिस अधिकारियों का कहना है कि शहर में एम्बुलेंस के नाम पर अवैध वसूली और आमजन की जेब काटने वाले संचालकों पर अब नकेल कसी जाएगी। ऐसे वाहनों के खिलाफ न केवल सीजिंग की कार्यवाही होगी बल्कि संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर आगे की कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी।
इस कार्रवाई में थाना गुलरिहा के प्रभारी निरीक्षक जितेंद्र कुमार सिंह मय हमराह, थाना शाहपुर के प्रभारी निरीक्षक नीरज राय मय हमराह, चौकी प्रभारी मेडिकल कॉलेज उपनिरीक्षक विकास कुमार मिश्रा, हेड कांस्टेबल सदानंद यादव और कांस्टेबल अवनीश यादव सक्रिय रूप से शामिल रहे।
पुलिस की इस कार्यवाही की खबर फैलते ही इलाके में चर्चा का विषय बन गई है। लंबे समय से मरीजों और उनके परिजनों द्वारा अवैध एम्बुलेंस संचालन की शिकायतें सामने आ रही थीं। खासकर गंभीर मरीजों को लेकर अस्पताल पहुंचाने की मजबूरी का फायदा उठाकर मनमाना किराया वसूला जा रहा था। अब पुलिस की इस सख्ती से उम्मीद जताई जा रही है कि मरीजों और उनके परिजनों को कुछ राहत मिलेगी और एम्बुलेंस सेवाओं पर नियामकीय व्यवस्था कायम होगी। पुलिस प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि इस प्रकार की कार्यवाहियां आगे भी निरंतर जारी रहेंगी। किसी भी कीमत पर कानून का उल्लंघन कर गरीब मरीजों का शोषण करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा।