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शुक्रवार सुबह बीआरडी मेडिकल कॉलेज में इलाज के दौरान गंभीर रूप से घायल पशु तस्कर अजहर उर्फ अजब हुसैन (32 वर्ष) निवासी रामपुर खुर्द, थाना गोपालपुर, जिला गोपालगंज (बिहार) की मौत हो गई।,पढिए पूरी खबर
गोरखपुर: शुक्रवार सुबह बीआरडी मेडिकल कॉलेज में इलाज के दौरान गंभीर रूप से घायल पशु तस्कर अजहर उर्फ अजब हुसैन (32 वर्ष) निवासी रामपुर खुर्द, थाना गोपालपुर, जिला गोपालगंज (बिहार) की मौत हो गई। अजहर का नाम हाल ही में पिपराइच क्षेत्र के महुआचाफी गांव में हुए छात्र दीपक गुप्ता की हत्या से जुड़ा सामने आया था। दीपक नीट की तैयारी कर रहा था और उसकी निर्मम हत्या ने पूरे इलाके को झकझोर दिया था।
क्या है पूरी खबर
अजहर को ग्रामीणों ने सोमवार की रात घेराबंदी कर पकड़ लिया था। बताया जा रहा है कि महुआचाफी गांव में पशु तस्करों की पिकअप गाड़ी फंस जाने के बाद ग्रामीणों को उनके मूवमेंट की जानकारी मिली। मौके पर ग्रामीणों ने घेराबंदी कर अजहर को पकड़ लिया और उसकी जमकर पिटाई की। बाद में उसे पुलिस के हवाले कर दिया गया। हालत गंभीर होने के कारण पुलिस ने उसे बीआरडी मेडिकल कॉलेज के सर्जरी विभाग में भर्ती कराया, जहां चार दिनों तक इलाज चला। शुक्रवार सुबह उसकी मौत हो गई।
आरोपियों की तलाश में छापेमारी
पुलिस सूत्रों के अनुसार, अजहर से पूछताछ के दौरान कई अहम खुलासे हुए थे। उसने अपने साथियों के नाम भी बताए थे, जो न केवल पशु तस्करी बल्कि महुआचाफी के छात्र हत्याकांड से भी जुड़े हुए हैं। इन इनपुट्स के आधार पर पुलिस की जांच और तेज हो गई है। अब पुलिस उन फरार आरोपियों की तलाश में छापेमारी कर रही है, जिनका नाम अजहर ने उजागर किया था।
शिकायतों के बावजूद कार्रवाई नहीं
ग्रामीणों का कहना है कि इलाके में लंबे समय से पशु तस्करों का आतंक बढ़ा हुआ है। आए दिन ग्रामीणों की शिकायतों के बावजूद कार्रवाई नहीं हो रही थी। दीपक गुप्ता की हत्या के बाद लोगों का आक्रोश और भी भड़क गया है। इसी आक्रोश का नतीजा था कि ग्रामीणों ने खुद पहल करते हुए अजहर को धर दबोचा।
ठोस कार्रवाई और स्थायी समाधान की मांग
अजहर की मौत के बाद पुलिस महुआचाफी कांड और पशु तस्करी के नेटवर्क दोनों की कड़ियां जोड़ने में जुटी है। स्थानीय लोगों का कहना है कि जब तक इन गिरोहों के सभी सदस्यों पर सख्त कार्रवाई नहीं होगी, तब तक क्षेत्र में शांति की उम्मीद करना मुश्किल है। वहीं, पुलिस अधिकारियों का कहना है कि फरार अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए टीमें गठित कर छापेमारी जारी है और जल्द ही पूरे नेटवर्क को ध्वस्त किया जाएगा। यह घटना न केवल गोरखपुर बल्कि आसपास के जिलों में भी चर्चा का विषय बनी हुई है। ग्रामीण अब पुलिस से ठोस कार्रवाई और स्थायी समाधान की मांग कर रहे हैं।
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