‘वोटर अधिकार यात्रा’ का बिहार विधानसभा चुनाव पर पड़ेगा कितना असर, क्या राहुल-तेजस्वी की जोड़ी बना पाएगी नया समीकरण?
बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस और राजद के नेतृत्व में शुरू हुई ‘वोटर अधिकार यात्रा’ सिर्फ एक राजनीतिक कार्यक्रम नहीं, बल्कि एक स्पष्ट संदेश है। विपक्ष अब सिर्फ सत्ता विरोध नहीं, जनाधिकार की राजनीति के जरिए मैदान में उतर रहा है। राहुल गांधी और तेजस्वी यादव की यह 16 दिवसीय यात्रा करीब 1300 किलोमीटर का सफर तय करते हुए 20 से ज्यादा जिलों से गुजरेगी, जहां दलित-पिछड़ा और अल्पसंख्यक वोट बैंक निर्णायक भूमिका निभाई जाएगी।