2014 के भड़काऊ भाषण मामले में केजरीवाल की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई टाली

डीएन ब्यूरो

उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की एक याचिका पर सुनवाई चार सप्ताह के लिए स्थगित कर दी। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर

केजरीवाल की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई टाली
केजरीवाल की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई टाली


नयी दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की एक याचिका पर सुनवाई चार सप्ताह के लिए स्थगित कर दी।

याचिका में 2014 के लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान उत्तर प्रदेश में भाजपा और कांग्रेस के खिलाफ कथित रूप से आपत्तिजनक टिप्पणियों के लिए उनके खिलाफ दायर मामले में आरोपमुक्त करने का अनुरोध किया गया था।

केजरीवाल ने इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ के एक आदेश के खिलाफ शीर्ष अदालत का रुख किया है। उच्च न्यायालय ने सुल्तानपुर की निचली अदालत में लंबित आपराधिक मामले में उन्हें आरोपमुक्त करने से इंकार कर दिया था।

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डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार न्यायमूर्ति एम एम सुंदरेश और न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला की पीठ ने केजरीवाल के वकील की ओर से सुनवाई स्थगित करने के अनुरोध पर गौर किया।

शीर्ष अदालत ने कहा कि वह चार सप्ताह के बाद मामले में सुनवाई करेगी।

केजरीवाल पर जन प्रतिनिधित्व कानून, 1951 की धारा 125 के तहत चुनाव के सिलसिले में वर्गों के बीच शत्रुता को बढ़ावा देने का आरोप है।

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प्रचार के दौरान केजरीवाल ने कथित रूप से कहा था, ‘‘जो कांग्रेस को वोट देगा, मेरा मानना है, देश के साथ गद्दारी होगी। जो भाजपा को वोट देगा, उसे खुदा भी माफ नहीं करेगा।’’

केजरीवाल ने शीर्ष अदालत में अपनी याचिका में कहा कि यह कानून के कुछ महत्वपूर्ण प्रश्न उठाती है। इसमें यह सवाल भी शामिल है कि क्या उनके कथित भाषण के पूरे अंश या कोई वीडियो क्लिप नहीं होने पर भी जन प्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 125 के तहत मामला बनाया जा सकता है।










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