अयोध्या में सऊदी अरब सरकार के खिलाफ आक्रोश, मोती मस्जिद में मजलिस-ए -अजा
उत्तर प्रदेश के अयोध्या में सऊदी हुकूमत से जन्नतुल बकी के रौजो के पुनर्निर्माण की मांग की। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
अयोध्या: मोती मस्जिद में मजलिस ए अजा का आयोजन कर सऊदी अरब सरकार के खिलाफ गम और आक्रोश का इजहार किया गया। जलसे में वक्ताओं ने अपने गम और गुस्से का प्रदर्शन करते हुए सऊदी हुकूमत से जन्नतुल बकी के रौजो के पुनर्निर्माण की मांग की।
डाइनामाइट न्यूज संवाददाता के अनुसार सऊदी अरब के मदीना स्थित जन्नतुल बकी में हजरत मुहम्मद मुस्तफा की बेटी जनाबे फातिमा जहरा व उनके नवासो इमाम हसन, इमामे जैनुलाब्दीन, इमामे मुहम्मद बाकर व इमामे जाफर ए सादिक की कब्रो पर बने रौज़े सऊदी हुकूमत ने सन 1925 में ईद के आठवें दिन बुलडोजर चलवा कर ध्वस्त करा दिए थे।
तब से आज तक उस तारीख पर दुनिया भर का मुसलमान अपने गम और गुस्से का इजहार करते हुए सऊदी सरकार से रौजो के पुनर्निर्माण की मांग करता है।
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मुहम्मद खादिम व सुहेल हलौरी ने तिलावत ए कुरान से जलसे का आगाज किया। शफक फैजाबादी, आसिफ रजा,व हमजा अकबरपुरी ने अपने ऐहतिजाजी कलाम पेश किए। मौलाना कमर मेहंदी व डॉ मिर्जा शहाब शाह ने ऐहतिजाजी तकरीरे पेश की ।
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मौलाना मुहम्मद हुज्जत ने कुरान और हदीस की रौशनी में सऊदी हुकूमत के इस जुल्म पर रौशनी डाली और रसूल की बेटी पर हुए मज़ालिम का वर्णन किया। आखिर में बज्म ए अब्बासिया ने नौहाखानी की ।
जलसे का संचालन डॉ मिर्जा शहाब शाह ने किया।