महराजगंज: फर्जी अस्पतालों और पैथोलॉजी सेंटरों पर ताबड़तोड़ छापेमारी, कई 'दुकाने' मिली बंद

डीएन संवाददाता

डाइनामाइट न्यूज़ जिले में बिना पंजीकरण वाले फर्जी अस्पतालों और पैथोलॉजी सेंटरों का कई बार अपनी खबरों में खुलासा करता रहा है लेकिन प्रशासनिक उदासीनता के कारण इस तरह की फर्जी दुकानें चलती रही। मामला जब जिलाधिकारी अमरनाथ उपाध्याय के पास पहुंचा तो उनके निर्देशों पर ताबड़तोड़ छापेमारी की गयी। डाइनामाइट न्यूज़ की एक्सक्लूसिव रिपोर्ट



महराजगंज: जिलाधिकारी अमरनाथ उपाध्याय के सख्त निर्देश पर स्वास्थ्य विभाग की चार टीमों ने जिले में चल रहे अवैध अस्पतालों, फर्जी पैथोलॉजी सेंटरों पर छापेमारी कर जरूरी दस्तावेजों समेत कई चीजों की जांच की। छापेमारी टीम को देखते ही फर्जी अस्पताल और पैथ लैब के संचालकों में हड़कंप मचा रहा, आधे दर्जन से ज्यादा लोग अपनी दुकाने बंद कर मौके से नदारद रहे। 

अस्पतालों की जांच करती टीम 

स्वास्थ्य विभाग ने छापेमारी के बाद इस संबंध में एक विस्तृत विवरण भी जारी किया, जिसमें उन सभी अस्पतालों का जिक्र है, जहां छापेमारी की गयी और कई तरह की खामियां पायी गयी। इसके साथ ही विभाग ने यह भी साफ किया कि छापेमारी के दौरान अधिकतर जगह बंद पाये गये। 

 

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स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा छापेमारी के बाद जारी विवरण

छापेमारी को लेकर एसीएमओ डा. आईए अंसारी ने डाइनामाइट न्यूज़ एक्सक्लूसिव बातचीत में बताया कि छापेमारी में झोलाछाप डॉक्टर, फर्जी पैथोलॉजी, अवैध अस्पतालों के मिलने पर कड़ी कार्यवाही की जाएगी और  डॉक्टरों के खिलाफ भी मुक़दमा दर्ज किया जायेगा।

छापेमारी के दौरान नदारद मिले कई संचालक 

 

छापेमारी टीम में शामिल एसीएमओ ने बताया कि नगर के मार्डन पैथोलॉजी, बॉडी केयर, लाल पैथोलॉजी समेत दर्जनों लोगों के पास चिकित्सक पैथोलॉजी न होने के कारण इनसे स्पष्टीकरण मांगा गया है। वहीं ठूठीबारी में दो अस्पतालों को सख्त हिदायत दी गयी है।

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इस छापेमारी में सबसे चौकाने वाली बात यह रही कि स्वास्थ्य विभाग की टीम के पहुंचने से पहले ही अवैध तरीके से चल रहे अधिकतर अस्पताल या पैथोलॉजी सेंटरों को बंद पाया गया। बड़ा सवाल यह है कि आखिर किसने इन लोगों तक छापेमारी की सूचना पहुंचाई, जिससे उन्हें नदारद होने का मौका मिल गया।
 










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