अतीक-अशरफ हत्याकांड को लेकर ललन सिंह ने योगी सरकार को घेरा, जानिये क्या कहा

डीएन ब्यूरो

जनता दल- यूनाइटिड (जदयू) के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन उर्फ ललन सिंह ने माफिया और पूर्व सांसद अतीक अहमद और उसके पूर्व विधायक भाई अशरफ अहमद की प्रयागराज में पुलिस हिरासत में सरेआम हत्या किए जाने पर सोमवार को प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए दावा किया कि उत्तर प्रदेश में ‘‘जंगल राज’’ है। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर

जदयू राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन उर्फ ललन सिंह
जदयू राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन उर्फ ललन सिंह


पटना: जनता दल- यूनाइटिड (जदयू) के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन उर्फ ललन सिंह ने माफिया और पूर्व सांसद अतीक अहमद और उसके पूर्व विधायक भाई अशरफ अहमद की प्रयागराज में पुलिस हिरासत में सरेआम हत्या किए जाने पर सोमवार को प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए दावा किया कि उत्तर प्रदेश में ‘‘जंगल राज’’ है।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार सिंह ने ट्विट कर कहा, “बिहार में जंगलराज का विलाप करने वाले भाजपाइयों को उत्तरप्रदेश पुलिस बल के समक्ष अपराधियों की ठायें-ठायें और न्यायिक हिरासत में हत्या नहीं दिखाई दे रही है।”

उन्होंने कहा, “लेकिन ढीठ भाजपा सरकार तो न्यायालय व संविधान को ताक पर रखकर कानून की धज्जियां उड़ा रही है और अपनी पीठ खुद थपथपा रही है।”

जदयू प्रमुख ने कहा, ‘‘बिहार में जब से महागठबंधन की सरकार बनी है तब से दिल्ली से लेकर प्रदेश स्तर तक के नेता जंगलराज कहने लगे हैं, वाह रे भाई वाह... उत्तरप्रदेश की भाजपा सरकार, जहां पुलिस अभिरक्षा में न्यायिक हिरासत के आरोपियों की सरेआम हत्या हो रही है उस सरकार को क्या कहिएगा... वाह रे भाजपा का मंगल राज....जहां कानून, संविधान और लोकतंत्र को कुचला जा रहा है।’’

सिंह ने भाजपा पर अपना प्रहार जारी रखते हुए कहा, ‘‘देश की 140 करोड़ जनता मूकदर्शक बन कर आपके कारनामों को देख रही है, 2024 में आपको जवाब जरूर मिलेगा और देश भाजपा मुक्त होगा ।”

अतीक (60) और उसके भाई अशरफ की शनिवार रात को प्रयागराज में तीन हमलावरों ने उस समय गोली मारकर हत्या कर दी थी, जब पुलिस दोनों को चिकित्सा जांच के लिए मेडिकल कॉलेज ले जा रही थी।

पत्रकारों की भेष में आए तीन हमलावरों ने अतीक और उसके भाई को उस समय बहुत करीब से गोली मार दी, जब वे मीडियाकर्मियों से बातचीत कर रह थे, जबकि उनके आसपास पुलिस कर्मियों का पहरा था।

इससे पहले झांसी में 13 अप्रैल को अहमद का बेटा असद और उसका एक साथी पुलिस मुठभेड़ में मारे गए थे।










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