भारत ने गुटनिरपेक्ष आंदोलन को लेकर सदस्य देशों को दिया ये बड़ा संदेश

भारत ने बृहस्पतिवार को कहा कि गुटनिरपेक्ष आंदोलन (नाम) ने बाहरी ताकतों के लिए उसे बांटना आसान बना दिया है और अगर समूह वैश्विक एजेंडा को आकार देना चाहता है तब उसे आत्मचिंतन करने की जरूरत है। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर

Post Published By: डीएन ब्यूरो
Updated : 7 July 2023, 7:02 PM IST
google-preferred

नयी दिल्ली: भारत ने बृहस्पतिवार को कहा कि गुटनिरपेक्ष आंदोलन (नाम) ने बाहरी ताकतों के लिए उसे बांटना आसान बना दिया है और अगर समूह वैश्विक एजेंडा को आकार देना चाहता है तब उसे आत्मचिंतन करने की जरूरत है।

भारत ने द्विपक्षीय मुद्दों को उठाने के लिए इस मंच का इस्तेमाल करने पर पाकिस्तान की आलोचना की।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, गुटनिरपेक्ष आंदोलन की मंत्रिस्तरीय समिति को बाकू में संबोधित करते हुए विदेश मंत्रालय में सचिव (पश्चिम) संजय वर्मा ने कहा कि वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक में चर्चा से यह प्रदर्शित हुआ है कि गुटनिरपेक्ष आंदोलन (नाम) ने बाहरी ताकतों के लिए समूह को बांटना आसान बना दिया है।

उन्होंने द्विपक्षीय मुद्दों को उठाने के लिए इस मंच का इस्तेमाल करने पर पाकिस्तान की आलोचना करते हुए इसे ‘बांडुंग सिद्धांतों’ का खुला उल्लंघन बताया।

वर्मा ने कहा कि यह खेदजनक है कि इस मंच के महत्व को कमतर किया जा रहा है।

गुटनिरपेक्ष आंदोलन में 120 देश हैं लेकिन यह एक औपचारिक ताकत के रूप में जुड़ा नहीं हुआ है।

वर्मा ने सुझाव दिया कि समूह को कम से कम अपने सदस्य देशों के प्रति सार्वजनिक रूप से स्नेह प्रदर्शित करना चाहिए।

इजराइल और फलस्तीन संघर्ष के संदर्भ में विदेश मंत्रालय में सचिव (पश्चिम) संजय वर्मा ने कहा, ‘‘हम इन पक्षों से हिंसा छोड़ने और जमीन पर ऐसी एकतरफा कार्रवाई से बचने की अपील करते हैं जो द्वि-राष्ट्र समाधान की व्यवहार्यता को कमतर करती हो एवं इनके बीच विश्वास की खाई को बढ़ाती हो।’’

उनका यह बयान ऐसे समय में आया है, जब जेनिन में इजराइली बलों के हमले के बाद बुधवार को फलस्तीनियों ने इजराइल की ओर रॉकेट दागे।

उन्होंने कहा कि गुटनिरपेक्ष आंदोलन (नाम) घोषणापत्र को लेकर भारत की कुछ आपत्तियां हैं, लेकिन वह द्वि-राष्ट्र समाधान निकालने के लिए इजराइल एवं फलस्तीन के बीच सीधी वार्ता शुरू करने को लेकर सभी प्रयासों को समर्थन देने को प्रतिबद्ध है।

वर्मा ने कहा कि क्षेत्र में स्थायी शांति तभी हासिल की जा सकती है जब फलस्तीन के सवाल का शांतिपूर्ण समाधान निकले।

Published :