

थाईलैंड और कंबोडिया के बीच 24 जुलाई 2025 को सीमा विवाद के चलते एक सैन्य झड़प हुई है, जिसमें थाई सेना के दो सैनिक घायल हुए हैं। यह झड़प ता मोआन थॉम मंदिर को लेकर शुरू हुई, जो एक विवादित क्षेत्र में स्थित है। दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ने के बाद यह घटना हुई, जिसमें ड्रोन और भारी हथियारों का इस्तेमाल किया गया।
थाईलैंड-कंबोडिया विवाद (सोर्स-गूगल)
New Delhi: 24 जुलाई 2025 को थाईलैंड और कंबोडिया के बीच सीमा विवाद को लेकर एक सैन्य झड़प हुई, जिसमें थाई सेना के दो सैनिक घायल हो गए। रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, यह झड़प ता मोआन थॉम मंदिर के नजदीक हुई, जो एक विवादित क्षेत्र है और दोनों देशों के बीच इसे लेकर दावे किए जा रहे हैं। इस घटना के दौरान भारी हथियारों और लॉन्चर का इस्तेमाल किया गया और थाई सेना ने कंबोडिया पर ड्रोन के जरिए हमले का आरोप लगाया है।
ता मोआन थॉम मंदिर का विवाद
ता मोआन थॉम मंदिर, जो थाईलैंड और कंबोडिया के बीच स्थित है, कई वर्षों से विवाद का केंद्र बना हुआ है। यह मंदिर एक ऐतिहासिक स्थल है और दोनों देशों के लिए सांस्कृतिक महत्व रखता है। दोनों देशों का दावा है कि यह मंदिर उनके क्षेत्र में आता है, जिससे सीमा विवाद और तनाव बढ़ रहा है। हालिया सैन्य झड़प उसी मंदिर को लेकर हुई है, जिसके कारण दोनों देशों के सैन्य बलों के बीच टकराव हुआ।
बारूदी सुरंगों का विवाद और सैनिकों का घायल होना
इस सैन्य टकराव से कुछ दिन पहले थाईलैंड के एक सैनिक ने सीमा क्षेत्र में बिछाई गई बारूदी सुरंगों के कारण घायल हो गया था। थाईलैंड का आरोप है कि कंबोडिया ने हाल ही में सीमा क्षेत्र में बारूदी सुरंगें बिछाई हैं, जिससे क्षेत्र की सुरक्षा पर सवाल उठने लगे हैं। कंबोडिया ने इस आरोप को खारिज करते हुए इसे गलत बताया है। इस घटना के बाद थाईलैंड ने कंबोडिया के साथ अपने राजनयिक रिश्ते में और तनाव बढ़ा लिया है।
थाईलैंड-कंबोडिया सीमा पर फिर युद्ध जैसे हालात (सोर्स-गूगल)
राजनयिक संकट और कूटनीतिक तनाव
थाईलैंड और कंबोडिया के बीच पहले से चल रहे तनाव ने अब एक राजनयिक संकट का रूप ले लिया है। थाईलैंड ने कंबोडिया से अपने राजदूत को वापस बुला लिया है और कंबोडियाई राजनयिक को निष्कासित कर दिया है। इस कूटनीतिक विवाद के बाद अब सैन्य कार्रवाई भी तेज हो गई है, जिससे दोनों देशों के रिश्ते और जटिल हो गए हैं।
2011 में हुई गोलाबारी की यादें
यह विवाद नया नहीं है, बल्कि थाईलैंड और कंबोडिया के बीच पिछले कई वर्षों से सीमा को लेकर तनाव चला आ रहा है। 2011 में भी इस विवादित क्षेत्र में हफ्तों तक गोलाबारी हुई थी, जिसमें कई लोग मारे गए थे। इस बार भी कंबोडिया के पूर्व प्रधानमंत्री हुन सेन का आरोप है कि थाई सेना ने दो कंबोडियाई प्रांतों पर गोलाबारी की है, जिससे स्थिति और खराब हो गई है।
स्थानीय लोगों को सुरक्षा की चेतावनी
थाईलैंड के सुरिन प्रांत के गवर्नर ने फेसबुक पर एक पोस्ट साझा कर मंदिर के नजदीक रहने वाले नागरिकों को अपने घरों में शरण लेने और निकासी के लिए तैयार रहने की अपील की है। इस क्षेत्र में दशकों पुरानी गृह युद्ध के दौरान बिछाई गई लाखों बारूदी सुरंगें पहले से ही खतरे का कारण बनी हुई हैं। नई बारूदी सुरंगों के आरोप और भारी हथियारों की तैनाती ने स्थिति को और विस्फोटक बना दिया है।