

मोतिहारी की पूर्व जदयू विधायक मीना द्विवेदी अब जन सुराज पार्टी में शामिल हो गई हैं। टिकट कटने और पार्टी में उपेक्षा के कारण उन्होंने यह कदम उठाया। प्रशांत किशोर ने उन्हें सदस्यता दिलाई। मीना का शामिल होना पार्टी को पूर्वी चंपारण में मजबूती देगा और बिहार राजनीति में हलचल बढ़ाएगा।
बिहार चुनाव
Motihari (Bihar): बिहार की राजनीति में एक और बड़ा बदलाव देखने को मिला है। गोविंदगंज की पूर्व जदयू विधायक मीना द्विवेदी अब जन सुराज पार्टी का हिस्सा बन गई हैं। पार्टी की सदस्यता उन्हें खुद प्रशांत किशोर ने दिलाई। सदस्यता समारोह शेखपुरा स्थित उनके आवास पर आयोजित किया गया।
मीना द्विवेदी ने यह निर्णय लंबे समय से पार्टी में मिलने वाली उपेक्षा और लगातार टिकट कटने के कारण लिया। वह जदयू में लंबे समय तक सक्रिय रही हैं और पिछले विधानसभा चुनाव में भी टिकट की प्रबल दावेदार मानी जाती थीं। लेकिन बार-बार टिकट से वंचित रहने के कारण वह नाराज चल रही थीं। उनका मानना था कि पार्टी में उनके योगदान और सक्रियता को नजरअंदाज किया जा रहा है। इस निराशा के चलते उन्होंने आखिरकार जदयू छोड़ने का मन बना लिया।
मीना द्विवेदी का जन सुराज पार्टी में शामिल होना प्रशांत किशोर की पार्टी के लिए एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। मीना द्विवेदी का गोविंदगंज विधानसभा क्षेत्र में अच्छा जनाधार है और वह एक अनुभवी नेता हैं। उनका पार्टी में आना निश्चित तौर पर पूर्वी चंपारण और आसपास के क्षेत्रों में जन सुराज की मजबूती को बढ़ाएगा।
जन सुराज पार्टी बिहार में एक नए विकल्प के रूप में उभरने की कोशिश कर रही है। प्रशांत किशोर लगातार पदयात्राओं, सम्मेलनों और लोक संपर्क कार्यक्रमों के जरिए लोगों को अपनी पार्टी से जोड़ रहे हैं। मीना द्विवेदी जैसे अनुभवी नेताओं का पार्टी में शामिल होना इस बात का संकेत है कि प्रशांत किशोर का संगठन अब और मजबूत हो रहा है।
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मीना द्विवेदी ने जन सुराज में शामिल होने के बाद कहा कि वह प्रशांत किशोर के सिद्धांतों और बिहार के विकास के विजन से प्रभावित हैं। उन्होंने यह भी कहा कि वह जन सुराज पार्टी के साथ मिलकर बिहार को एक बेहतर राज्य बनाने की दिशा में काम करेंगी।
इस कदम से स्पष्ट हो गया है कि बिहार की सियासत में प्रशांत किशोर की पार्टी अब प्रभावशाली हो रही है। पूर्वी चंपारण जैसे क्षेत्रीय जनाधार वाले नेताओं का जुड़ना जन सुराज को स्थानीय राजनीति में नई पहचान दिलाएगा।
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मीना द्विवेदी का जदयू छोड़कर जन सुराज पार्टी में शामिल होना न केवल उनकी व्यक्तिगत राजनीतिक स्थिति को बदलता है, बल्कि बिहार में आगामी चुनावों में संभावित राजनीतिक समीकरणों पर भी असर डाल सकता है। प्रशांत किशोर की पार्टी अब अधिक संगठित और मजबूत नजर आ रही है, जिससे राज्य की राजनीति में नया हलचल देखने को मिल सकती है।