हिंदी
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के परिणाम आने से पहले ही सियासी सरगर्मी तेज हो गई है। एक ओर जहां महागठबंधन और एनडीए के बीच बयानबाज़ी का दौर जारी है तो वही दूसरी ओर काराकाट की निर्दलीय उम्मीदवार और पवन सिंह की पत्नी ज्योति सिंह पर FIR दर्ज हुई है।
पवन सिंह की पत्नी ज्योति सिंह पर एफआईआर दर्ज
Patna: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के परिणाम आने से पहले ही सियासी सरगर्मी तेज हो गई है। एक ओर जहां महागठबंधन और एनडीए के बीच बयानबाज़ी का दौर जारी है, वहीं दूसरी ओर भोजपुरी सिनेमा के “पावर स्टार” पवन सिंह की पत्नी और निर्दलीय उम्मीदवार ज्योति सिंह एक विवाद में फंस गई हैं। उनके खिलाफ आदर्श आचार संहिता उल्लंघन के आरोप में एफआईआर दर्ज की गई है।
मामला काराकाट विधानसभा क्षेत्र (रोहतास जिला) का है, जहां से ज्योति सिंह निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ रही हैं। 10 नवंबर 2025 की रात, यानी मतदान से एक दिन पहले, वे अपने 15 से 18 समर्थकों के साथ बिक्रमगंज के विंध्यवासिनी होटल में ठहरी हुई थीं। चुनाव आयोग के नियमों के अनुसार, मतदान से 48 घंटे पहले यानी 9 नवंबर की शाम 6 बजे के बाद किसी भी उम्मीदवार को प्रचार करने या समर्थकों को एकत्रित करने की अनुमति नहीं होती। यह अवधि “साइलेंट पीरियड” कहलाती है, जिसमें चुनावी गतिविधियों पर पूर्ण प्रतिबंध रहता है।
बिहार में किसकी सरकार? नतीजों से पहले सियासी सरगर्मी तेज, एग्जिट पोल कर रहें इस ओर इशारा
बिक्रमगंज के एसडीएम प्रभात कुमार के नेतृत्व में प्रशासनिक टीम ने उस रात होटल में रूटीन जांच की। जांच के दौरान पाया गया कि ज्योति सिंह और उनके समर्थक होटल में मीटिंग कर रहे थे, जिसे चुनावी प्रचार का प्रयास माना गया। एसडीएम ने तत्काल रिपोर्ट दर्ज करवाई।
11-12 नवंबर की रात, बिक्रमगंज थाने में प्रभात कुमार की शिकायत पर IPC की धारा 188 (सरकारी आदेश की अवज्ञा) और लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 130 के तहत ज्योति सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई। अधिकारियों का कहना है कि “यह पूरी तरह नियमों के तहत की गई कार्रवाई है, और जांच रिपोर्ट के बाद आगे की प्रक्रिया तय होगी।”
बिहार चुनाव में हाई वोटिंग, क्या RJD फिर सत्ता में लौटेगा? ओपी राजभर का नया बयान
FIR दर्ज होने के कुछ घंटे बाद ही ज्योति सिंह ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो संदेश जारी किया। उन्होंने आरोप लगाया कि उनके खिलाफ “राजनीतिक साजिश” रची जा रही है। वीडियो में उन्होंने कहा “मैं निर्दलीय उम्मीदवार हूं, लेकिन मेरे पति के प्रभाव से कुछ लोग डरते हैं। मुझे चुनाव से बाहर करने की कोशिश हो रही है। बिहारवासियों, इसका जवाब वोट से दीजिए।” ज्योति ने प्रशासन और पुलिस पर पक्षपात का आरोप लगाया और कहा कि “निर्दलीय उम्मीदवारों के साथ भेदभाव किया जा रहा है।”
एसडीएम प्रभात कुमार ने बयान जारी करते हुए कहा कि “यह कोई व्यक्तिगत कार्रवाई नहीं, बल्कि चुनावी नियमों का पालन है।” उन्होंने बताया कि धनवितरण या गैरकानूनी प्रचार का कोई सबूत नहीं मिला, लेकिन नियमों का उल्लंघन स्पष्ट है। वहीं, चुनाव आयोग ने भी इस कार्रवाई को “नियमित निगरानी का हिस्सा” बताया है।
Delhi Blast Impact on Bihar Voting: क्या दिल्ली ब्लास्ट का बिहार चुनाव के मतदान पर पड़ेगा असर?
ज्योति सिंह के समर्थक इस कार्रवाई को “एनडीए की साजिश” बता रहे हैं, क्योंकि पवन सिंह को भाजपा समर्थक माना जाता है। दूसरी ओर, विपक्ष इसे “कानून के दायरे में हुई कार्रवाई” कह रहा है। कुल मिलाकर, काराकाट का यह मामला अब बिहार चुनाव की सबसे चर्चित घटनाओं में से एक बन चुका है।