हाईकोर्ट ने नैनीताल जिला पंचायत चुनाव पर उठाए गंभीर सवाल; आयोग और प्रशासन से मांगा जवाब

उत्तराखंड हाईकोर्ट ने नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष और उपाध्यक्ष चुनाव को लेकर चुनाव आयोग और जिला प्रशासन पर कड़े सवाल उठाए। अदालत ने ऑब्जर्वर की रिपोर्ट पर नाराजगी जताते हुए सोमवार तक शपथपत्र दाखिल करने के निर्देश दिए।

Post Published By: Rohit Goyal
Updated : 27 August 2025, 7:51 PM IST

Nainital: उत्तराखंड हाईकोर्ट ने नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष और उपाध्यक्ष चुनाव को लेकर कड़ी नाराजगी जताई है। मुख्य न्यायाधीश नरेंद्र और न्यायमूर्ति सुभाष उपाध्याय की खंडपीठ ने सुनवाई के दौरान चुनाव आयोग से पूछा कि उन पांच सदस्यों के खिलाफ अब तक क्या कदम उठाए गए जिन्होंने बिना इजाजत मतदान में हिस्सा ही नहीं लिया।

अदालत ने चुनाव पर्यवेक्षक की रिपोर्ट पर भी सवाल खड़े किए। आयोग की ओर से पेश रिपोर्ट में कहा गया कि मतदान केंद्र के सौ मीटर दायरे में कोई विवाद या हिंसा नहीं हुई। इस पर खंडपीठ ने तीखी टिप्पणी करते हुए कहा कि नियम के अनुसार आधा किलोमीटर तक निषेधाज्ञा लागू होती है तो फिर सौ मीटर की सीमा कहां से आई। अदालत ने यह भी कहा कि आपके ऑब्जर्वर पूरी तरह असफल रहे हैं।

याचिका पक्ष ने सुनवाई में दलील दी कि चुनाव के दौरान अपहरण की घटनाओं को लेकर कई मुकदमे दर्ज हुए थे लेकिन इनका जिक्र रिपोर्ट में कहीं नहीं है। इस पर अदालत ने नाराजगी जताई और पूछा कि मतदान के दिन ही अपराध की जानकारी दर्ज क्यों नहीं की गई और अधिकारियों ने क्या कदम उठाए।

मुख्य न्यायाधीश ने डीएम और एसएसपी की भूमिका पर भी सवाल उठाए। अदालत ने कहा कि जब एसएसपी खुद मान चुके हैं कि पांच सदस्य बिना अनुमति बाहर गए तो उनके खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं हुई। डीएम की रिपोर्ट को लेकर भी अदालत ने तीखा तंज कसा और कहा कि क्या डीएम यहां पंचतंत्र की कहानियां भेज रही थीं। अदालत ने यह भी टिप्पणी की कि एसएसपी पूरी तरह नाकाम साबित हुए हैं।

अदालत ने साफ किया कि उसका मकसद यह जानना नहीं है कि किसने किस उम्मीदवार को वोट दिया बल्कि यह देखना है कि कहीं किसी सदस्य को वोट डालने से रोका तो नहीं गया। खंडपीठ ने चुनाव आयोग को आदेश दिया कि वह सोमवार तक शपथपत्र के रूप में अपनी पूरी स्थिति अदालत के सामने रखे।

Location : 
  • Nainital

Published : 
  • 27 August 2025, 7:51 PM IST