यूपी मत्स्य जीवी सहकारी संघ ने सीएम योगी को दिया ज्ञापन, तालाबों के पट्टों को लेकर की ये मांग

डीएन संवाददाता

उत्तर प्रदेश मत्स्य जीवी सहकारी संघ ने यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मत्स्य पालन के लिये तालाबों के 10 वर्षीय पट्टा आवंटन की धनराशि को लेकर ज्ञापन प्रेषित किया है। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

वीरू साहनी, सभापति, यूपी मत्स्य जीवी सहकारी संघ
वीरू साहनी, सभापति, यूपी मत्स्य जीवी सहकारी संघ


लकनऊ: उत्तर प्रदेश मत्स्य जीवी सहकारी संघ लि. ने मुख्यमंत्री योगीआदित्यनाथ को एक ज्ञापन दिया है। इस ज्ञापन में राज्य में मत्स्य पालन के लिए ग्राम सभा के तालाबों, पोखरों, मीनाशयों आदि का 10 वर्षीय पट्टे को लेकर आरसी प्रपत्र-15 में दी गयी व्यवस्था के अनुसार नीलामी के वार्षिक लगान की धनराशि पट्टाधारक से जमा कराने की दिशा में उचित कार्यवाही की मांग की गई है। 

यूपी मत्स्य जीवी सहकारी संघ के सभापति वीरू साहनी द्वारा मुख्यमंत्री को प्रेष्त ज्ञापन में कहा गया है कि प्रदेश के समस्त तहसीलों द्वारा मत्स्य पालन के लिये ग्राम सभा के तालाबों, पोखरों, और मीनाशयों आदि का 10 वर्षीय पट्टा किया जा रहा है। पट्टा आवंटन के पश्चात उस तालाब की कुल बोली के सापेक्ष 10 वर्षों के लगान का 1/4 भाग नीलामी के दिन जमा करा लिया जाता है तथा शेष 3/4 भाग तहसीलों द्वारा 15 दिन के अन्दर जमा कराया जाता है। 

मत्स्य संघ का कहना है कि यदि आवंटी 3/4 भाग धनराशि 15 दिन के अन्दर जमा नहीं करता है तो उस पट्टाधारक का आवंटन निरस्त करने की कार्यवाही प्रारम्भ कर दी जाती है, जबकि राजस्व संहिता 2006 नियमावली 2016 की धारा- 189 Q190 में निहित प्रावधानों के अनुसार ऐसा कोई उल्लेख नहीं है कि 10 वर्षों के लगान की कुल धनराशि का 1/4 भाग धनराशि तत्काल जमा करा लिया जाय तथा शेष 3/4 भाग धनराशि 15 दिनों के अन्दर जमा किया जाय। 

ज्ञापन में कहा गया है कि यूपी राजस्व संहिता नियमावली के नियम 57 (11) में आवंटन विलेख हेतु आरसी प्रपत्र 15 में दी गयी व्यवस्था के अनुसार पट्टाधारक नीलामी के वार्षिक लगान की धनराशि प्रत्येक वर्ष 30 जून से पूर्व अदा करेगा और प्रथम वर्ष का किराया एकमुश्त 1/4 भाग नीलामी के समय तथा 3/4 भाग 15 दिन के अन्दर जमा करेगा।

मत्स्य संघ ने मांग की है कि उत्तर प्रदेश राजस्व संहिता नियमावली के नियम 57 (11) में आवंटन विलेख के लिये आरसी प्रपत्र-15 में दी गयी व्यवस्था के अनुसार नीलामी के वार्षिक लगान की धनराशि पट्टाधारक से जमा कराने के लिये आवश्यक कार्यवाही की जाए।










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