

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश में जलमार्गों के विकास की दिशा में ठोस प्रयास करने की जरूरत पर जोर देते हुए बृहस्पतिवार को राज्य में अन्तर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण के गठन के निर्देश दिये। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर
लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश में जलमार्गों के विकास की दिशा में ठोस प्रयास करने की जरूरत पर जोर देते हुए बृहस्पतिवार को राज्य में अन्तर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण के गठन के निर्देश दिये।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार मुख्यमंत्री ने यहां एक उच्चस्तरीय बैठक में प्रदेश में जलमार्गों के विकास पर विचार-विमर्श किया। उन्होंने कहा कि प्रदेश में जलमार्ग परिवहन का तेजी से विस्तार हो रहा है।
प्रयागराज से हल्दिया तक राष्ट्रीय जलमार्ग पहले से ही क्रियाशील है। उन्होंने कहा कि परिवहन के एक साधन के रूप में अंतर्देशीय जल परिवहन में प्रदेश में अपार संभावनाएं हैं और इसे विस्तार देने की जरूरत है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में जल परिवहन की प्राचीन परंपरा रही है, लेकिन बदलते समय के साथ इस क्षेत्र को उपेक्षित कर दिया गया।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में जलमार्गों के सृजन, विकास और उन्हें यातायात एवं माल ढुलाई के लिए इस्तेमाल में लाने के लिए ठोस प्रयास करने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में अन्तर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण गठित किया जाना चाहिए और इस संबंध में राष्ट्रीय जलमार्ग प्राधिकरण और अन्य राज्यों में चल रही व्यवस्थाओं का अध्ययन कर प्रस्ताव तैयार किया जाए।
आदित्यनाथ ने कहा कि यह प्राधिकरण नोडल अथॉरिटी के रूप में भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण से तालमेल बनाएगा। यह प्राधिकरण अंतर्देशीय जल परिवहन एवं पर्यटन संबंधित सभी गतिविधियों का नियमन करेगा।
उन्होंने कहा कि यह प्राधिकरण जल परिवहन से संबंधित पर्यावरण एवं सुरक्षा कानूनों का अनुपालन, जलमार्गों के विकास और बेहतर इस्तेमाल के लिये हाइड्रोग्राफिक सर्वेक्षण एवं जांच की जिम्मेदारी भी निभाएगा।
मुख्यमंत्री आदित्यनाथ ने कहा कि परिवहन मंत्री इस अन्तर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण के पदेन अध्यक्ष होंगे जबकि उपाध्यक्ष के पद पर जल परिवहन क्षेत्र में व्यापक अनुभव रखने वाले किसी विशेषज्ञ की तैनाती की जाएगी। प्रदेश के परिवहन आयुक्त इस प्राधिकरण के मुख्य अधिशासी अधिकारी होंगे।
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