महराजगंज: सऊदी गए युवक की मौत के 3 माह बाद गांव पहुंचा शव, परिवार में कोहराम
रोजी-रोटी के लिए इंसान परिवार, घर और देश छोड़कर बाहर जाते हैं लेकिन शायद ही ऐसा ख्याल आता हो कि वह अब अपने परिवार को फिर नहीं देख पाएगा। ऐसा ही एक हादसा जिले के घुघली क्षेत्र निवासी सऊदी गए युवक के साथ हुआ वहीं परिवार वालों को शव भी तीन माह बाद मिल सका। डाइनामाइट न्यूज़ पर पढ़ें पूरी खबर..
घुघली (महराजगंज): रोजी-रोटी के चक्कर में खाड़ी देश कमाने गए घुघली थाना क्षेत्र के पुरैना निवासी 35 वर्षीय राम करन उर्फ नेबूलाल की सउदी अरब में सड़क हादसे में मौत हो गई। वहीं परिजनों को तीन माह तक शव का इंतजार करना पड़ा। शव घर आते ही परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया है।
महराजगंज के घुघली क्षेत्र के पुरैना गांव के रामकरन अपने घर की आर्थिक हालत को ठीक करने के लिए दो वर्ष पहले सऊदी अरब काम करने गए थे। तीन माह पहले वह छुट्टी पर भारत अपने गांव आया था। उसके बाद वह फिर सऊदी चले गए थे।
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वहीं सऊदी में ही 7 अप्रैल को मालिक के काम से बाजार जाने के दौरान एक गाड़ी के चपेट में आने से उसकी मौके पर मौत हो गई थी। मौत की खबर से युवक के परिवार और गांव में कोहराम मच गया था। परिवार में पिता सुखारी चौधरी और पत्नी बिन्दा देवी उसके शव के लिए तीन माह से इंतजार कर रहे थे।
ग्राम प्रधान विनय कुमार पाण्डेय और गांव के कुछ लोगों ने रामकरन की शव को मंगवाने का प्रयास शुरू किया। तब तीन माह बाद मंगलवार सुबह शव गांव पहुंचा। शव गांव में आते ही कोहराम मच गया। कुछ देर बाद राम करन का अंतिम संस्कार घुघली के बैकुंठी घाट पर किया गया।
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शव का भार पिता के कंधे पर तो पत्नी बिन्दा का जीवन हुआ स्याह
तीन माह बाद आई पति की शव को पत्नी बिंदा देख भी नहीं पाई, ताबूत खुला तो पहली नजर पड़ते ही वह बेहोश हो गई। पिता सुखारी भी भी ताबूत पर गिर पड़े। वहीं मां लवगीं देवी अपने बेटे की ताबूत को एकटक निहार रही थी, ऐसा सदमा कि जैसे आंसू सूख गए हों। पिता अपने बूढ़े कंधे पर जवान बेटे का शव लेकर घुघली बैकुंठी घाट पहुंचे, जहां उसका अन्तिम संस्कार किया गया।